
लोकतंत्र की असली ताकत कागज़ पर दर्ज नामों में नहीं, बल्कि उन जागरूक कदमों में बसती है जो नागरिक मतदान बूथ तक लेकर आते हैं। इसी भावना को नई ऊर्जा देने के लिए उत्तर प्रदेश के तीन महत्वपूर्ण जनपदों आजमगढ़, वाराणसी और बरेली में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनप्रतिनिधियों से सीधे रूबरू होकर बड़ा संदेश दिया। यह संवाद सिर्फ बैठक नहीं, बल्कि मतदाता पुनरीक्षण अभियान को जनआंदोलन बनाने की दिशा में एक निर्णायक पहल साबित हुआ।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि मतदाता सूची का सटीक और पारदर्शी होना लोकतंत्र की नींव है। उन्होंने जनप्रतिनिधियों और पार्टी पदाधिकारियों से अपील की कि वे घर-घर जाकर पात्र नागरिकों को सूची में नाम जुड़वाने के लिए प्रेरित करें। साथ ही यह भी सुनिश्चित करें कि अपात्र नाम समय पर हटाकर मतदाता सूची को मजबूत और विश्वसनीय बनाया जाए।
योगी ने स्पष्ट कहा कि हर कार्यकर्ता को अपने बूथ स्तर पर सक्रिय रहना चाहिए, क्योंकि जनता से सीधे संवाद के बिना जागरूकता अभियान सफल नहीं हो सकता।
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सीएम योगी ने तीनों जिलों के जनप्रतिनिधियों से मिले फीडबैक को विशेष रूप से सराहा। उन्होंने कहा कि जमीन से जुड़ी सूचनाएं किसी भी अभियान को सफल बनाने का सबसे बड़ा आधार होती हैं। लगातार संवाद और फीडबैक से बेहतर समन्वय स्थापित होता है, जिससे मतदाता पुनरीक्षण अभियान अधिक प्रभावी और व्यापक बनता है। उन्होंने यह भी कहा कि जनता से जुड़े रहना ही लोकतंत्र की सबसे बड़ी शक्ति है, और यह अभियान उसी शक्ति को और बुलंद करेगा।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि मतदाता पुनरीक्षण सिर्फ सरकार का नहीं, बल्कि समाज के हर जिम्मेदार नागरिक का सामूहिक प्रयास है। उन्होंने भरोसा जताया कि जनप्रतिनिधियों, कार्यकर्ताओं और जनता के संयुक्त सहयोग से वोटर सूची और अधिक पारदर्शी, विश्वसनीय और अद्यतन बनेगी।
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