रिकॉर्ड पर रिकॉर्ड! मनरेगा से 48 लाख परिवारों को रोजगार, जानिए पूरा आंकड़ा

Published : Dec 13, 2025, 05:56 PM IST
up mgnrega record 48 lakh families yogi government

सार

उप्र में योगी सरकार के नेतृत्व में मनरेगा ने बनाया नया रिकॉर्ड। वित्तीय वर्ष 2025-26 में 48 लाख से अधिक परिवारों को रोजगार मिला, 31% एससी-एसटी लाभार्थी रहे। 97% से ज्यादा मजदूरी भुगतान समय पर हुआ और 6703 करोड़ से ग्रामीण अर्थव्यवस्था मजबूत हुई।

उत्तर प्रदेश में ग्रामीण रोजगार की तस्वीर तेजी से बदल रही है। खेत-खलिहान से लेकर गांव की पगडंडियों तक, काम और मजदूरी को लेकर जो भरोसा कभी डगमगाता था, वह अब मजबूत होता दिख रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में मनरेगा एक बार फिर चर्चा में है, वजह है रोजगार, भुगतान और सामाजिक भागीदारी से जुड़े रिकॉर्ड आंकड़े।

48 लाख से अधिक परिवारों को मिला काम

महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के तहत वित्तीय वर्ष 2025-26 में अब तक 48 लाख से अधिक परिवारों को रोजगार उपलब्ध कराया गया है। खास बात यह है कि इनमें 31 प्रतिशत से अधिक लाभार्थी अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति वर्ग से हैं। यह आंकड़ा बताता है कि योजना का लाभ समाज के उस वर्ग तक भी पहुंच रहा है, जो लंबे समय तक मुख्यधारा से दूर रहा।

यह भी पढ़ें: किराया ना मिलने पर कोर्ट का नोटिस लेकर पहुंचा मकान मालिक, अंदर का नजारा देख हर कोई कांप गया!

97 फीसदी से ज्यादा भुगतान समय पर

ग्रामीण क्षेत्रों में मनरेगा को लेकर सबसे बड़ी शिकायत भुगतान में देरी की रहती थी, लेकिन इस बार तस्वीर बदली हुई है। वित्तीय वर्ष 2025-26 में 97 प्रतिशत से अधिक श्रमिकों को समय पर मजदूरी का भुगतान किया गया है। इससे न केवल श्रमिकों का भरोसा बढ़ा है, बल्कि योजना की पारदर्शिता पर भी मुहर लगी है।

6703 करोड़ रुपये से बने आय के नए स्रोत

योगी सरकार ने मनरेगा के तहत अब तक 6703 करोड़ रुपये की धनराशि खर्च की है। इस निवेश से गांवों में जल संरक्षण, सड़क, तालाब, भूमि सुधार और अन्य टिकाऊ परिसंपत्तियों का निर्माण हुआ है। इन कार्यों ने न केवल अस्थायी रोजगार दिया, बल्कि ग्रामीण इलाकों में आय के स्थायी स्रोत भी तैयार किए हैं।

एससी-एसटी परिवारों को विशेष प्राथमिकता

सरकार की नीति में रोजगार के साथ सम्मान को भी अहम माना गया है। इसी के तहत अनुसूचित जाति और जनजाति के परिवारों को मनरेगा में विशेष प्राथमिकता दी जा रही है। इसका असर यह हुआ है कि इन वर्गों की आर्थिक स्थिति में सुधार आया है और ग्रामीण इलाकों से होने वाला पलायन भी काफी हद तक रुका है।

ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मिल रही मजबूती

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में मनरेगा प्रदेश में समावेशी विकास का मजबूत आधार बनता जा रहा है। गांवों में काम, समय पर भुगतान और विकास कार्यों की रफ्तार ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई ताकत दी है। लाखों परिवार आत्मनिर्भरता की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं और उत्तर प्रदेश का ग्रामीण मॉडल देश के लिए एक उदाहरण बनता नजर आ रहा है।

यह भी पढ़ें: खुशियों के मंडप में अचानक छाया सन्नाटा, फेरों से पहले दूल्हे ने रख दी ऐसी शर्त, टूटी शादी

PREV

उत्तर प्रदेश में हो रही राजनीतिक हलचल, प्रशासनिक फैसले, धार्मिक स्थल अपडेट्स, अपराध और रोजगार समाचार सबसे पहले पाएं। वाराणसी, लखनऊ, नोएडा से लेकर गांव-कस्बों की हर रिपोर्ट के लिए UP News in Hindi सेक्शन देखें — भरोसेमंद और तेज़ अपडेट्स सिर्फ Asianet News Hindi पर।

Read more Articles on

Recommended Stories

ड्रग माफियाओं पर योगी सरकार का बड़ा वार, ANTF को मिलेगा नया बल
खुशियों के मंडप में अचानक छाया सन्नाटा, फेरों से पहले दूल्हे ने रख दी ऐसी शर्त, टूटी शादी