
Tesla Battery Tech Explained : टेस्ला सिर्फ इलेक्ट्रिक कार नहीं, बल्कि बैटरी साइंस की ताकत का सबसे बेहतरीन उदाहरण है। जहां दूसरी EV कंपनियों की रेंज 300–400 किलोमीटर तक सीमित रहती है, वहीं, टेस्ला मॉडल Y जैसी कारें सिंगल चार्ज में ही 750 किमी तक चल जाती हैं। तो आखिर टेस्ला की बैटरियां इतनी पावरफुल कैसे होती हैं? क्या ये सिर्फ बड़ी बैटरी का कमाल है या कुछ ज्यादा डीप टेक्नोलॉजी छिपी है? आइए जानते हैं 15 जुलाई को भारत में ऑफिशियल एंट्री से पहले एलन मस्क (Elon Musk) की इलेक्ट्रिक कारों की टेक्नोलॉजी से जुड़े इन सवालों के जवाब...
टेस्ला की बैटरियां Lithium-Ion केमेस्ट्री पर बेस्ड होती हैं, लेकिन ये कोई आम लिथियम बैटरी नहीं होती हैं। कंपनी अपने 2170-type और अब 4680-टाइप सिलेंड्रिकल सेल्स यूज करती है, जो ज्यादा एनर्जी प्रति किलोग्राम स्टोर करती हैं, कम गर्म होती हैं और ज्यादा तेज चार्ज होती हैं। यही बैटरियां टेस्ला को लंबी रेंज और ज्यादा लाइफस्पैन देती हैं।
Tesla की लेटेस्ट 4680 बैटरी सेल्स, पुराने 2170 सेल्स की तुलना में 5 गुना ज्यादा एनर्जी कैपेसिटी रखती हैं, 6 गुना ज्यादा पावर आउटपुट देती हैं और कार को करीब 16% ज्यादा की रेंज देती हैं। यही वजह है कि मॉडल Y जैसी कारें इतनी लंबी दूरी तय करती हैं।
टेस्ला के बैटरी पैक के साथ एक बेहद एडवांस्ड बैटरी मैनेजमेंट सिस्टम (Battery Management System) आता है जो, हर सेल का टेम्परेचर मॉनिटर करता है, वोल्टेज बैलेंस करता है, ओवरचार्जिंग और ओवरहीटिंग से बचाता है। इससे बैटरी की एफिशिएंसी और सेफ्टी दोनों बनी रहती है।
इलेक्ट्रिक कारों की बैटरी का दुश्मन हीट होता है। टेस्ला खास लिक्विड कूलिंग सिस्टम का इस्तेमाल करती है, जिससे लंबी दूरी चलने के बाद भी बैटरी ज्यादा गर्म नहीं होती, चार्जिंग के दौरान टेम्परेचर कंट्रोल में रहता है और बैटरी लाइफ बढ़ती है। यही कारण है कि टेस्ला की बैटरियां हाई परफॉर्मेंस पर भी ठंडी बनी रहती हैं।
टेस्ला की रेंज बढ़ाने में एक और सीक्रेट टेक्नोलॉजी Regenerative Braking है। जब आप ब्रेक लगाते हैं, गाड़ी की मूवमेंट से एनर्जी जनरेट होती है, जो वापस बैटरी में जाती है। इससे गाड़ी खुद को चार्ज करती है, खासकर ट्रैफिक और डाउनहिल में।
टेस्ला सिर्फ हार्डवेयर पर नहीं, AI-बेस्ड सॉफ्टवेयर ऑप्टिमाइजेशन पर भी निर्भर करती है। इसका मतलब ड्राइविंग पैटर्न को समझकर बैटरी को स्मार्ट तरीके से डिस्चार्ज करना, अपडेट्स के जरिए रेंज बढ़ाना और एनर्जी यूसेज को स्मार्टली कंट्रोल करना।
टेस्ला OTA (Over-the-Air) सॉफ्टवेयर अपडेट्स समय-समय पर भेजती है, जिससे बैटरी की परफॉर्मेंस और एफिशिएंसी में सुधार होता है। इसके लिए किसी सर्विस सेंटर जाने की भी जरूरत नहीं पड़ती है।