गुप्त नवरात्रि में रोज करें एक श्लोकी दुर्गा सप्तशती का पाठ, दूर होगा हर संकट

इन दिनों माघ मास की गुप्त नवरात्रि चल रही है जो 21 फ‌रवरी, रविवार तक रहेगी। धर्म शास्त्रों के अनुसार, इस नवरात्रि दुर्गा सप्तशती का पाठ करने से पुण्य मिलता है और पाप का नाश होता है।

Asianet News Hindi | Published : Feb 15, 2021 3:31 AM IST

उज्जैन. इन दिनों माघ मास की गुप्त नवरात्रि चल रही है जो 21 फ‌रवरी, रविवार तक रहेगी। धर्म शास्त्रों के अनुसार, इस नवरात्रि दुर्गा सप्तशती का पाठ करने से पुण्य मिलता है और पाप का नाश होता है, लेकिन वर्तमान समय में संपूर्ण दुर्गासप्तशती पढ़ने का समय शायद ही किसी के पास हो। ऐसे में नीचे लिखे एक मंत्र का जाप गुप्त नवरात्रि के दौरान विधि-विधान से करने से संपूर्ण दुर्गासप्तशती पढ़ने का फल मिलता है। इस मंत्र को एक श्लोकी दुर्गासप्तशती भी कहते हैं। यह मंत्र इस प्रकार है-

मंत्र

या अंबा मधुकैटभ प्रमथिनी,या माहिषोन्मूलिनी,
या धूम्रेक्षण चन्ड मुंड मथिनी,या रक्तबीजाशिनी,
शक्तिः शुंभ निशुंभ दैत्य दलिनी,या सिद्धलक्ष्मी: परा,
सादुर्गा नवकोटि विश्व सहिता,माम् पातु विश्वेश्वरी


जाप विधि

- गुप्त नवरात्रि में रोज सुबह जल्दी नहाकर, साफ वस्त्र पहनकर भगवती दुर्गा के चित्र का विधिवत पूजन करें।
- माता दुर्गा के चित्र के सामने आसन लगाकर रुद्राक्ष की माला लेकर इस मंत्र का जप करें।
- प्रतिदिन पांच माला जप करने से उत्तम फल मिलता है।
- आसन कुश का हो तो अच्छा रहता है।
- एक ही समय, आसन व माला हो तो यह मंत्र जल्दी ही सिद्ध हो जाता है।

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