अभ्यर्थियों का स्पष्ट रूप से कहना है कि अब वह शांत नहीं बैठेंगे तथा वह फिर एक बार बड़ा धरना प्रदर्शन एवं घेराव करेंगे। उनका कहना है कि राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग इस भर्ती में आरक्षण घोटाले की रिपोर्ट 29 अप्रैल 2021 को बेसिक शिक्षा विभाग को एक बार नहीं बल्कि तीन-तीन बार भेज चुका है इन सब के बावजूद यह मामला सरकार के संज्ञान में है।साथ ही बेसिक शिक्षा मंत्री को आयोग रिपोर्ट प्राप्त होने के संबंध में सब कुछ पता है इन सब के बावजूद मंत्री जी विधानसभा में झूठ बोलकर गलत बयान दे रहे हैं जो सरासर गलत है।
लखनऊ: 69 हजार सहायक शिक्षक (69000 shikshak Bharti) भर्ती के आरक्षण पीड़ित ओबीसी (OBC) तथा एससी (SC) वर्ग के अभ्यर्थियों ने आज भर्ती में आरक्षण घोटाले (reservation scam) को लेकर बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश चंद्र द्विवेदी (Basic Education Minister Satish chandra diwedi) के आवास का घेराव किया तथा पुलिस से उनकी झड़प हुई जिससे कई अभ्यर्थियों (Candidates) के चोटे भी आई। शुक्रवार को विधानसभा में बेसिक शिक्षा मंत्री सतीश चंद्र द्विवेदी ने कहा था कि अभी तक उन्हें राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (National Commission for Backward Classes) की रिपोर्ट प्राप्त नहीं हुई है यदि प्राप्त होती है तो वह उसे देखेंगे। साथ ही मंत्री ने कहा कि इस भर्ती में कोई भी घोटाला नहीं हुआ है विपक्ष इन अभ्यर्थियों को इस मुद्दे पर बहला रहा है इस बात से नाराज अभ्यर्थियों ने आज जमकर धरना प्रदर्शन एवं नारेबाजी की।
बड़े धरना प्रदर्शन एवं घेराव का किया ऐलान
बेसिक शिक्षा मंत्री के आवास पर धरना प्रदर्शन एवं घेराव के दौरान अभ्यर्थियों की कई बार पुलिसकर्मियों से झड़प हुई तथा कुछ अभ्यर्थियों को चोटे भी आई। पुलिस ने प्रदर्शन (Protest) कर रहे सभी प्रदर्शनकारियों (demonstrators) को हिरासत (Arrest) में लेकर बस में बैठाकर इको गार्डन (Eco Garden) भेज दिया। अभ्यर्थियों का स्पष्ट रूप से कहना है कि अब वह शांत नहीं बैठेंगे तथा वह फिर एक बार बड़ा धरना प्रदर्शन एवं घेराव करेंगे। उनका कहना है कि राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग इस भर्ती में आरक्षण घोटाले की रिपोर्ट 29 अप्रैल 2021 को बेसिक शिक्षा विभाग को एक बार नहीं बल्कि तीन-तीन बार भेज चुका है इन सब के बावजूद यह मामला सरकार के संज्ञान में है।साथ ही बेसिक शिक्षा मंत्री को आयोग रिपोर्ट प्राप्त होने के संबंध में सब कुछ पता है इन सब के बावजूद मंत्री जी विधानसभा में झूठ बोलकर गलत बयान दे रहे हैं जो सरासर गलत है।
लखनऊ हाई कोर्ट में विचाराधीन है आरक्षण पीड़ितों का मामला
आरक्षण पीड़ित ओबीसी वर्ग को इस भर्ती में 18598 में से मात्र 2637 सीट मिली है तथा ओबीसी वर्ग को इस भर्ती में 27% की जगह मात्र 3.86% ही आरक्षण मिला है। वहीं दूसरी तरफ एससी वर्ग को इस भर्ती में 21% की जगह मात्र 16.6% आरक्षण ही दिया गया है और इस प्रकार इस भर्ती में बेसिक शिक्षा नियमावली 1981 (Basic Education Manual 1981) तथा आरक्षण नियमावली 1994 का घोर उल्लंघन हुआ है। इस भर्ती में आरक्षण पीड़ित ओबीसी तथा एससी वर्ग के अभ्यर्थियों की ठीक तरह से ओवरलैपिंग (overlapping) भी नहीं कराई गई है तथा यह मामला लखनऊ हाई कोर्ट (Lucknow High Court) में विचाराधीन है। जहां पर सरकार होने वाली सुनवाई में महाधिवक्ता को नहीं भेजती जबकि अभ्यर्थी बार-बार सरकार से गुहार करते हैं कि हाईकोर्ट में होने वाली प्रत्येक सुनवाई में महाधिवक्ता को भेजा जाए तथा इस मामले का जल्द से जल्द निपटारा किया जाए।
बीजेपी के लोगो ने दिया झूठा आश्वासन
आरक्षण पीड़ित अभ्यर्थियों का अब स्पष्ट रूप से कहना है कि अब वह किसी भी कीमत पर शांत नहीं बैठेंगे। उन्होंने कहा कि अपना हक लेकर रहेंगे क्योंकि अब तक बीजेपी के मंत्री, विधायक तथा तमाम नेताओं द्वारा झूठा आश्वासन दिया गया है कि आरक्षण पीड़ित अभ्यर्थियों के साथ न्याय किया जाएगा लेकिन यह सरकार न्याय करने के बजाय सिर्फ आचार संहिता लगे जाने तक झूठा आश्वासन देकर अभ्यर्थियों को टरकाने का प्रयास कर रही है। अभ्यर्थियों का स्पष्ट रूप से कहना है कि वह राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग की रिपोर्ट लागू की जाए तथा राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग के सभी शिकायतकर्ताओं को इसमें शामिल किया जाए इसको लेकर बेसिक शिक्षा मंत्री से कई बार डेलिगेशन के रूप में मिल चुके हैं। उन्होंने अभ्यर्थियों के डेलिगेशन में इस बात को स्वीकार किया है कि उन्हें आरक्षण राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग की रिपोर्ट प्राप्त हो गई है और वह दिखवा कर रहे हैं ताकि आप को न्याय मिल जाए लेकिन अब बेसिक शिक्षा मंत्री ने कल विधानसभा में झूठा बयान देकर आरक्षण पीड़ित अभ्यर्थियों को धोखा देने का कार्य किया है। वह शीघ्र ही लखनऊ में अब विशाल धरना प्रदर्शन करेंगे। धरना प्रदर्शन में शामिल मुख्य रूप से सुमित यादव , एवरेस्ट कश्यप, अमित गंगवार, पुष्पा यादव , कृष्णा सिह, निलय गुप्ता, विमल पटेल, श्रवण चौरसिया, फिरोज गाजी आदि शामिल थे।