अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य व महानिदेशक स्वास्थ्य सेवाएं दुवारा मनमाने ढंग से किये तबादलों को लेकर पहले डिप्टी सीएम (स्वास्थ्य मंत्री) ब्रजेश पाठक के बाद राज्य मंत्री स्वास्थ्य मयंकेश्वर शरण सिंह ने विभागीय अधिकारी के खिलाफ मोर्चा खोला है।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ के दूसरे कार्यकाल में स्वास्थ्य विभाग की कमान संभाल रहे स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक विभाग में अपनी जिम्मेदारियों को बाखूबी निभा रहे है। इसी कड़ी में राज्य के स्वास्थ्य मंत्री व उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के नाम से जारी पत्र में स्वास्थ्य विभाग में हुए तबादलों पर गंभीर सवाल उठाए गए हैं। अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य व महानिदेशक स्वास्थ्य सेवाएं द्वारा मनमाने ढंग से किये तबादलों को लेकर पहले डिप्टी सीएम (स्वास्थ्य मंत्री) ब्रजेश पाठक के बाद अब राज्य मंत्री स्वास्थ्य मयंकेश्वर शरण सिंह ने विभागीय अधिकारी के खिलाफ मोर्चा खोल लिया है।
स्थानांतरण नीति का पूर्णतः नहीं किया गया पालन
प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री व उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के नाम से जारी पत्र में स्वास्थ्य विभाग में हुए तबादलों पर गंभीर सवाल उठाए गए हैं। अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य को लिखे गए पत्र में आरोप लगाया गया है कि वर्तमान सत्र में जो भी स्थानांतरण किये गए हैं। उनमें स्थानांतरण नीति का पूर्णतः पालन नहीं किया गया है। उपमुख्यमंत्री द्वारा जारी किए गए पत्र में बताया है कि लखनऊ सहित प्रदेश के अन्य जिलों में बड़े अस्पतालों, जहां विशेषज्ञ डॉक्टरों की अत्यंत आवश्यकता है। वहां से बड़ी संख्या में डॉक्टरों को हटा तो दिया गया है लेकिन उनके स्थान पर प्रतिस्थानी की नियुक्तियां नहीं की गयी हैं। स्वास्थ्य विभाग के मंत्री ब्रजेश पाठक द्वारा जारी पत्र के अनुसार लखनऊ प्रदेश की राजधानी है यहां वैसे भी विशेषज्ञ डॉक्टरों की पहले से ही कमी है तथा प्रदेश के हर जनपद से गंभीर मरीजों को लखनऊ के लिए रेफर किया जाता है, ताकि उनका समुचित इलाज संभव हो सके।
राज्य स्वास्थ्य मंत्री ने महानिदेशक से मांगा ब्योरा
राज्य मंत्री स्वास्थ्य मयंकेश्वर शरण सिंह ने महानिदेशक को जारी पत्र में लिखा है कि चिकित्सा शिक्षा, चिकित्सा स्वास्थ्य परिवार कल्याण तथा मातृ एवं शिशु कल्याण विभाग ने अपेक्षानुसार प्रदेश में इस विभाग में 30 जून से पहले अधीन अधीनस्थ अनुभागों में कार्यरत कर्मचारीयों की सूचनाएं मांगी है। इन कर्मचारियों में टेक्निशियन, फिजियोथेरेपिस्ट, प्रयोगशाला सहायक, एल.टी डार्करूम सहायक, ईसीजी टेक्निशियन, मलेरिया, फाइलेरिया एवं डेन्टल संवर्ग के लोग शामिल है। इसमें मण्डलीय कार्यालायों में अधिकतम अवधि सात वर्ष पहले करने वाले अधिकारी, पिछले कितने सालों में किस पटल पर एवं कितने वर्षों में उस जिले में कार्यरत है उसका विवरण भी मांगा है। साथ ही समूह ख व ग के कर्मचारियों का पटल परिवर्तन प्रदेश मण्डल और जिलानुसार मुख्यालय स्तर तक पिछले तीन से सात वर्षों का विवरण मांगा है। इसके लिए सात जून को 11:30 बजे तक कार्यालय में उपलब्ध ककराने का कष्ट करें।
योगी सरकार बेटियों की शादी के लिए देगी 51000, जानिए किसे मिलेगा इस योजना का लाभ
श्रीकृष्ण जन्मभूमि और शाही ईदगाह विवाद मामले में दो याचिकाओं पर आज होगी सुनवाई, जानिए क्या हैं मांग