शूट आउट की रात तक कई पुलिसवालों के सम्पर्क में था विकास दुबे, मोबाइल में मिले अहम सबूत

विकास दुबे के घर में मिली मोबाइल में कई पुलिस वालों के नंबर मिले हैं। पता चला है कि मुठभेड़ की रात तक 24 घंटे में इन लोगों से विकास दुबे की कई बार बातचीत हुई। इस संबंध में पुलिस पूछताछ कर रही है। आशंका जताई जा रही है इस मामले में कुछ चौंकाने वाली गिरफ्तारियां हो सकती हैं।

कानपुर(Uttar Pradesh). कानपुर में चौबेपुर के बिक्ररू गांव में गुरूवार की देर रात शातिर अपराधी विकास दुबे को पकड़ने गई पुलिस टीम पर बदमाशों की फायरिंग में 8 पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे। घटना के कुछ ही घंटे के बाद पुलिस की फिर से बदमाशों से मुठभेड़ हुई जिसमे शातिर विकास दुबे गैंग के दो बदमाश मारे गए। इस मामले में मुख्य आरोपी विकास अभी भी फरार है। इसमें एसटीएफ, क्राइम ब्रांच और जिला पुलिस ने 30 संदिग्धों को हिरासत में लिया है। इनसे लगातार पूछताछ जारी है। सूत्रों के अनुसार विकास दुबे के घर में मिली मोबाइल में कई पुलिस वालों के नंबर मिले हैं। पता चला है कि मुठभेड़ की रात तक 24 घंटे में इन लोगों से विकास दुबे की कई बार बातचीत हुई। इस संबंध में पुलिस पूछताछ कर रही है। आशंका जताई जा रही है इस मामले में कुछ चौंकाने वाली गिरफ्तारियां हो सकती हैं।

हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे और उसके गैंग ने जिस तरह से इस जघन्य हत्याकांड को पूरी प्लानिंग के तहत अंजाम दिया, उसने पुलिस विभाग की गोपनीयता पर सवाल खड़े किए हैं। माना जा रहा है कि इस पूरे ऑपरेशन की जानकारी विकास व उसके गैंग को पहले से ही थी। पुलिस बल की संख्या और हथियारों की क्षमता के बारे में भी उसे जानकारी रही होगी ऐसे कयास लगाये जा रहे हैं । अधिकारियों को आशंका है कि पुलिस महकमे के ही किसी भेदिए ने चौबेपुर थाने से फोर्स के चलने और गांव पहुंचने तक पल-पल की मूवमेंट की जानकारी विकास दुबे को दी थी। इस मामले में पुलिस के हाथ अहम सुराग भी लगे हैं।

Latest Videos

मोबाइल कॉल डिटेल आते ही हटेगा पर्दा 
विकास दुबे के घर से मिले मोबाइल फोन में जिन पुलिस वालों के नम्बर मिले हैं उसमे चौबेपुर थाने के एक दरोगा, सिपाही और होमगार्ड के मोबाइल नंबर शामिल है। अब शक के आधार पर इनकी कॉल डिटेल खंगाली जा रही है। सूत्रों के अनुसार मेाबाइल कॉल डिटेल का इंतजार किया जा रहा है। इसके आते ही इस मामले में काफी कुछ साफ़ हो जाएगा। उसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

पहले से ही शक के दायरे में हैं एसओ चौबेपुर 
चौबेपुर थाना क्षेत्र स्थित मोहनी निवादा गांव निवासी राहुल तिवारी ने विकास दुबे के खिलाफ जानलेवा हमले की रिपोर्ट दर्ज करने के लिए तहरीर चौबेपुर थाने में दी थी। लेकिन जानलेवा हमले की एफआईआर दर्ज करने के बजाए एसओ चौबेपुर विनय तिवारी विकास दुबे के यहां समझौता कराने पहुंचे थे। इस दौरान राहुल तिवारी को पीटने के साथ एसओ विनय तिवारी को भी विकास ने बेइज्जत किया था। यही नहीं बताया जा रहा है कि देर रात विकास दुबे की गिरफ्तारी को दबिश देने गई टीम में एसओ चौबेपुर सबसे पीछे थे। मामले में एसओ चौबेपुर की भूमिका पर सवाल उठ रहे हैं। हालांकि आलाधिकारी इस विषय पर कुछ भी बोलने से बच रहे हैं।

Share this article
click me!

Latest Videos

जमुई में हाथ जोड़कर आगे बढ़ रहे थे PM Modi फिर ये क्या बजाने लगे? झूमते दिखे लोग । PM Modi Jamui
महाराष्ट्र में हुई गृहमंत्री अमित शाह के बैग और हेलीकॉप्टर की तलाशी #Shorts #amitshah
UPPSC Student Protest: डिमांड्स पूरी होने के बाद भी क्यों जारी है छात्रों का आंदोलन, अब क्या है मांग
झांसी: शॉर्ट सर्किट ने अस्पताल को बनाया श्मशान, जिंदा जले 10 बच्चे
Maharashtra Election 2024: 'कटेंगे-बटेंगे' के खिलाफ बीजेपी में ही उठने लगे सवाल। Pankaja Munde