'फ्लाइंग कॉफिन' यानी उड़ता ताबूत के नाम से बदनाम मिग-21 एक बार फिर उड़ान के कुछ मिनट बाद ही जमीदोंज हो गया। इस फाइटर प्लेन ने ग्वालियर स्थित एयरफोर्स के एयरबेस से उड़ान भरी थी। उल्लेखनीय है कि करीब 5 दशक पुराने इन एयरक्रॉफ्ट को बदलने की मांग उठती रही है।
ग्वालियर. मध्य प्रदेश के भिंड जिले में बुधवार सुबह करीब 10 बजे एयरफोर्स का मिग-21 क्रैश हो गया। मिग-21 को भारतीय वायुसेना का सबसे पुराना फाइटर प्लेन माना जाता है। इसने ग्वालियर एयरबेस से रूटीन गश्त पर उड़ान भरी थी। हालांकि कुछ देर बाद ही भिंड जिले के गोहद कस्बे के समीप एक गांव में जाकर गिर गया। सेना ने कोर्ट ऑफ इंक्वायरी का आदेश दे दिया है। कर्नल रैंक के एक अफसर हादसे की जांच करेंगे। उल्लेखनीय है कि मिग-21 के क्रैश होने की घटनाएं लगातार हो रही हैं। इसे अब 'फ्लाइंग कॉफिन' यानी उड़ता ताबूत कहा जाने लगा है। करीब 5 दशक पुराने इन एयरक्रॉफ्ट को बदलने का लगातार मांग उठती आ रही है। इन विमानों को एचएएल द्वारा निर्मित देसी और हल्के फाइटर प्लेन तेजस से बदलने की मां होती रही है।
पायलट ने पैराशूट से कूदकर बचाई जान
इस MiG 21 Trainer में दो पायलट, ग्रुप कैप्टन और स्क्वाड्रन लीडर मौजूद थे। हालांकि सभी विमान गिरने से पहले ही पैराशूट पहनकर कूद गए थे। बाद में उन्हें वायुसेना के विमान से ले जाया गया। सालभर के अंदर मिग क्रैश होने की यह तीसरी घटना है। मार्च में राजस्थान के बीकानेर में भी मिग-21 क्रैश हुआ था। उल्लेखनीय हैकि यही विमान विंग कमांडर अभिनंदन भी उड़ा रहे थे, जो पाकिस्तान में जाकर गिरा था। बताते हैं कि एयरक्रॉफ्ट ने ग्वालियर वायुसेना की हवाई पट्टी से उड़ान भरी थी। कुछ देर बाद ही यह भिंड जिले के गोहद कस्बे के पास एक गांव में जाकर गिर गया। हालांकि इससे पहले ही उसमें सवार पैराशूट की मदद से कूद गए थे। विमान को गिरते देख गांववाले वहां मदद के लिए पहुंच गए थे।
सबसे पुराना फाइटर जेट
मिग-21 भारतीय वायुसेना का सबसे पुरान फाइटर जेट है। हालांकि भारत के पास और भी कई फाइटर प्लेन हैं। इसके जरिये सीमा पर निगरानी की जाती है। याद रहे कि बालाकोट एयर स्ट्राइक के दौरान पाकिस्तान की ओर से एफ-16 लड़ाकू विमान भेजे जाने के बाद भारत ने उनका मुकाबला करने मिग-21 रवाना किए थे। मिग-21 ने पाकिस्तानी फाइटर प्लेनों को भागने पर मजबूर कर दिया था। विंग कमांडर अभिनंदन यही विमान उड़ा रहे थे। एक आकलन के अनुसार दुनिया के 40 से अधिक देश मिग-21 फाइटर प्लेन प्रयोग करते हैं।