कश्मीर मुद्दे पर चिंतित हैं अमेरिकी सांसद, कही ये बड़ी बात

अमेरिका के सांसदों ने जम्मू-कश्मीर की स्थिति को लेकर गहरी चिंता जाहिर की है और भारत तथा पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूतों से दोनों देशों के बीच तनाव कम करने के लिए हर संभव प्रयास करने को कहा है।

Asianet News Hindi | Published : Sep 14, 2019 10:01 AM IST

वॉशिंगटन. अमेरिका के सांसदों ने जम्मू-कश्मीर की स्थिति को लेकर गहरी चिंता जाहिर की है और भारत तथा पाकिस्तान में अमेरिकी राजदूतों से दोनों देशों के बीच तनाव कम करने के लिए हर संभव प्रयास करने को कहा है। जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 के ज्यादातर प्रावधानों को पांच अगस्त को समाप्त कर दिया गया और राज्य को दो केंद्र शासित क्षेत्रों में बांट दिया गया। पाकिस्तान इसका विरोध कर रहा है। इसके बाद से दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया है। नयी दिल्ली और इस्लामाबाद में अमेरिकी राजदूतों केनेथ जस्टर और पॉल डब्ल्यू जोन्स को शुक्रवार को अमेरिकी सांसद ने पत्र लिखकर कहा कि ऐसी आशंका है कि इस संकट के परिणामस्वरूप भारत और पाकिस्तान के बीच संबंधों में नरमी ही रहेगी।

वैश्विक शांति के लिए खतरा हैं ये हालात  
पत्र में कहा गया है,  यह स्थिति वैश्विक शांति और स्पष्ट तौर अमेरिका की राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा है। पाकिस्तान और भारत दोनों ही महत्वपूर्ण सहयोगी हैं और अफगानिस्तान में शांति प्रक्रिया सहित क्षेत्र में हमारे हितों के लिए बेहद जरूरी है। पत्र में दोनों देशों के अमेरिकी राजदूतों से अपील की गई है कि वह अपनी क्षमता के अनुसार दोनों देशों के बीच तनाव कम करने के लिए हर संभव प्रयास करें। इसके अलावा पत्र में अमेरिका के हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव के सदस्यों ने दोनों राजनयिकों से अपील की है कि वह अमेरिका में रह रहे कश्मीरी लोगों का संपर्क जम्मू-कश्मीर में रह रहे उनके परिवारों से कराएं। उन्होंने भारत सरकार से मांग की है कि जम्मू-कश्मीर में संचार के माध्यम बहाल करें और मीडिया को संबंधित क्षेत्र में जाने की अनुमति दें।

Latest Videos

जम्मू कश्मीर के निर्णय की आलोचना करती हूं- राशिदा तलैब 
इस पत्र पर इलहान उमर, राउल एम ग्रीजाल्वा, एंडी लेविन, जेम्स पी मैकगवर्न, टेड ल्यू, डोनाल्ड बेयर और एलन लोवेनथल के हस्ताक्षर हैं। वहीं एक अन्य बयान में राशिदा तलैब ने कहा कि उनके मन में भारत के प्रति काफी सम्मान है लेकिन वह जम्मू-कश्मीर के विशेष दर्जे को खत्म करने की आलोचना करती हैं।

(नोट- यह खबर समाचार एजेंसी भाषा की है, एशियानेट हिंदी टीम ने सिर्फ हेडलाइन में बदलाव किया है।)

Share this article
click me!

Latest Videos

Bengaluru Mahalaxmi केस का क्या है ओडिशा कनेक्शन? नए एंगल ने पलट दी थ्योरी
OMG! 53 दवाइयां क्वालिटी टेस्ट में फेल, एक तो है Paracetamol
IQ Test: 4 मजेदार सवाल, जानिए कितने स्मार्ट हैं आप #Shorts
फिरोजाबादः चिता की लकड़ियों को छोड़ लाश लेकर क्यों भागे घरवाले?
'बहुत टॉर्चर करती थी महालक्ष्मी', आरोपी मुक्ति रंजन का चौंकाने वाला सुसाइड नोट