अमेरिका को चुनौती देने के लिए अपनी नौसेना की ताकत बढ़ा रहा चीन, लॉन्च किया तीसरा एयरक्राफ्ट कैरियर

चीन सुपरपावर अमेरिका को चुनौती देने की तैयारी कर रहा है। इसके लिए वह अपनी नौसेना की ताकत बढ़ा रहा है। इसी क्रम में चीन ने अपना तीसरा एयरक्राफ्ट कैरियर (Aircraft Carrier) लॉन्च किया है। 

बीजिंग। अमेरिका को चुनौती देने के लिए चीन अपनी नौसेना की ताकत बढ़ा रहा है। इसी क्रम में उसने शुक्रवार को अपना तीसरा विमानवाहक पोत (Aircraft Carrier) लॉन्च किया। इसे चीन का सबसे उन्नत एयरक्राफ्ट कैरियर बताया जा रहा है। इसका निर्माण पूरी तरह चीन में ही हुआ है। इसमें लगे हथियार और उपकरण चीन द्वारा बनाए गए हैं। इसे हिंद प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती ताकत के रूप में देखा जा रहा है। 

एयरक्राफ्ट कैरियर का नाम फुजियान है। इसे शंघाई के जियांगन शिपयार्ड में बनाया गया है। शंघाई में COVID लॉकडाउन के कारण इसे लॉन्च करने में दो महीने की देरी हुई। पहले इसे 23 अप्रैल को पीपुल्स लिबरेशन आर्मी नेवी (PLAN) की 73वीं वर्षगांठ के आसपास लॉन्च किया जाना था।

Latest Videos

80 हजार टन है डिस्प्लेसमेंट
चाइना स्टेट शिपबिल्डिंग कॉरपोरेशन लिमिटेड द्वारा निर्मित इस एयरक्राफ्ट कैरियर का डिस्प्लेसमेंट (विस्थापन) 80 हजार टन से अधिक है। यह इलेक्ट्रोमैग्नेटिक कैटापोल्ट्स और अरेस्टिंग डिवाइस से लैस है। इनका इस्तेमाल लड़ाकू विमान के पोत से उड़ान भरने और वापस लैंड करने के दौरान होता है। चीन के पहले के दो एयरक्राफ्ट कैरियर में विमान के टेकऑफ के लिए स्की जंप डेक है। इसमें डेक पर बने रनवे का अंतिम हिस्सा ऊंचा होता है, जिससे विमान को हवा में उछाल मिलती है। चीन के तीसरे एयरक्राफ्ट कैरियर में फ्लैट फ्लाइट डेक है। 

पांच विमानवाहक पोत रखेगा चीन
चीन का पहला विमानवाहक पोत लिओनिंग है। इसे 2012 में कमीशन किया गया था। इसे सोवियत युग के जहाज को रिफिट कर बनाया गया था। इसके बाद 2019 में चीन ने दूसरा विमानवाहक पोत शेडोंग बनाया था। चीन की योजना पांच विमानवाहक पोत रखने की है। चीन अब न्यूक्लियर इनर्जी से चलने वाले अगले विमानवाहक पोत के निर्माण पर काम कर रहा है। 

यह भी पढ़ें- कौन है पाकिस्तानी आतंकी अब्दुल रहमान मक्की, जिसे बचाने के लिए चीन ने किया वीटो

नौसेना की क्षमता बढ़ा रहा चीन
बता दें कि चीन अपनी नौसेना की क्षमता तेजी से बढ़ा रहा है। हिंद महासागर में चीनी नौसेना की उपस्थिति बढ़ी है। ताइवान को लेकर चीन और अमेरिका के बीच तनातनी है। इसके चलते चीन नौसेना की ताकत के मामले में अमेरिका को चुनौती देने की कोशिश कर रहा है। चीन दक्षिण चीन सागर और पूर्वी चीन सागर दोनों में क्षेत्रीय विवादों में उलझा हुआ है। बीजिंग ने इस क्षेत्र में अपने नियंत्रण वाले कई द्वीपों का निर्माण और सैन्यीकरण किया है। दोनों क्षेत्रों को खनिज, तेल और अन्य प्राकृतिक संसाधनों से समृद्ध बताया गया है। इसके साथ ही ये वैश्विक व्यापार के लिए महत्वपूर्ण हैं।

यह भी पढ़ें- पाकिस्तान में रह रहे चीनी नागरिकों को सता रहा मौत का खौफ, घर से निकलने से पहले पुलिस को देनी होगी खबर

Share this article
click me!

Latest Videos

UPPSC Student Protest: डिमांड्स पूरी होने के बाद भी क्यों जारी है छात्रों का आंदोलन, अब क्या है मांग
Maharashtra Election 2024: 'कटेंगे-बटेंगे' के खिलाफ बीजेपी में ही उठने लगे सवाल। Pankaja Munde
बदल गया दिल्ली के सराय काले खां चौक का नाम, जानें क्या है नया नाम? । Birsa Munda Chowk
खराब हो गया पीएम मोदी का विमान, एयरपोर्ट पर ही फंस गए प्रधानमंत्री । PM Modi । Deoghar Airport
SDM थप्पड़कांड के बाद 10 धाराओं में दर्ज हुआ केस, हवालात में ऐसे कटी नरेश मीणा की रात । Deoli-Uniara