
वाशिंगटन. अश्वेत जार्ज फ्लॉयड की मौत के बाद हिंसा की आग में झुलस रहे अमेरिका में अब प्रदर्शनकारियों ने राजधानी वाशिंगटन डीसी में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा का अपमान किया है। यह प्रतिमा वाशिंगटन स्थित भारतीय दूतावास में लगी है। बताया जा रहा है कि प्रदर्शनकारियों ने खाली बोतलें फेंकी है। इस घटना के बाद बापू की प्रतिमा को ढक दिया गया है। हालांकि, अभी अमेरिका स्थित भारतीय दूतावास की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं जारी किया गया है, लेकिन समाचार एजेंसी एएनआई ने अपने सूत्रों के हवाले से कहा है कि बापू की प्रतिमा के अपमान के मामले की जांच यूनाइटेड स्टेट्स पार्क पार्क पुलिस कर रही है।
24 राज्यों में नेशनल गार्ड तैनात
24 राज्यों में नेशनल गार्ड के करीब 17,000 सैनिकों की तैनाती की गई है। उन्होंने कहा, 'कुल 3,50,000 नेशनल गार्ड उपलब्ध हैं और अराजकता के लिए और कदम उठाए जाएंगे।
पूर्व पीएम अटल ने किया था प्रतिमा का अनावरण
वाशिंगटन डीसी स्थित भारतीय दूतावास के सामने महात्मा गांधी की प्रतिमा का अनावरण पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और अमेरिका के तत्कालीन राष्ट्रपति बिल क्लिंटन ने 16 सितंबर, 2000 में किया था। इस प्रतिमा के अलावा अमेरिका के कई शहरों में महात्मा गांधी की दो दर्जन से अधिक प्रतिमाएं हैं।
क्या है मामला?
कुछ दिन पहले सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ था। इसमें एक अश्वेत शख्स जॉर्ज फ्लॉयड जमीन पर लेटा नजर आ रहा है और उसके गर्दन के ऊपर एक पुलिस अफसर घुटना रखकर दबाता है। कुछ मिनटों के बाद फ्लॉयड की मौत हो जाती है। वीडियो में जॉर्ज कहते दिख रहे हैं, प्लीज आई कान्ट ब्रीद (मैं सांस नहीं ले पा रहा हूं)। यही उनके आखिरी शब्द थे। अब अमेरिका में प्रदर्शनकारी आई कॉन्ट ब्रीद का बैनर लिए विरोध कर रहे हैं।
कौन था जार्ज फ्लॉयड?
जॉर्ज फ्लॉयड 46 साल के थे। उनका जन्म उत्तरी कैरोलीना में हुआ था। वे ह्यूस्टन में रहते थे। लेकिन काम के सिलसिले में वह मिनियापोलिस आ गया। फ्लॉयड मिनियापोलिस के एक रेस्टोरेंट में सिक्योरिटी गार्ड के तौर पर काम करता था। 5 साल से जॉर्ज उस रेस्टोरेंट में काम कर रहे थे। वे मालिक के घर पर किराए से रहते थे। उनकी 6 साल की बेटी भी है। जॉर्ज की पत्नी के मुताबिक, उन्हें मिनियापोलिस काफी पसंद था। वे इसलिए यहां रह रहे थे।
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