कौन हैं इंडिया कॉकस के प्रमुख वाल्ट्ज? बनें ट्रम्प के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार

Published : Nov 12, 2024, 08:48 AM ISTUpdated : Nov 12, 2024, 08:55 AM IST
Mike Waltz

सार

डोनाल्ड ट्रंप ने माइक वाल्ट्ज को अपना राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार चुना है। वाल्ट्ज इंडिया कॉकस के प्रमुख और भारत-अमेरिका संबंधों के प्रबल समर्थक हैं।

वाशिंगटन। अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने फ्लोरिडा के प्रतिनिधि माइक वाल्ट्ज को अपना राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार चुना है। वाल्ट्ज इंडिया कॉकस के प्रमुख हैं। 50 साल के वाल्ट्ज आर्मी नेशनल गार्ड के रिटायर अधिकारी हैं। उन्हें युद्ध का अनुभव है। उनसे राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए आक्रामक दृष्टिकोण लाने की उम्मीद है। ट्रम्प ने अमेरिकी सुरक्षा को मजबूत करने का वादा किया है।

वाल्ट्ज पूर्व-मध्य फ्लोरिडा से तीन बार रिपब्लिकन प्रतिनिधि रहे हैं। वह अमेरिकी सदन के लिए चुने गए पहले ग्रीन बेरेट थे। वह सदन की सशस्त्र सेवा उपसमिति के अध्यक्ष और सदन की विदेश मामलों की समिति तथा खुफिया मामलों की स्थायी चयन समिति के सदस्य भी रहे हैं।

भारत-अमेरिका रक्षा संबंध मजबूत करने के समर्थक हैं वाल्ट्ज

वाल्ट्ज मजबूत रक्षा रणनीतियों के कट्टर समर्थक हैं। भारत के साथ संबंधों और चीन का मुकाबला करने के मामले में उनकी साफ सोच रही है। वह अनुभवी विदेश नीति विशेषज्ञ हैं। उन्हें अमेरिका-भारत गठबंधन का प्रबल समर्थक माना जाता है। उन्होंने भारत के साथ संबंधों को और मजबूत करने की वकालत की है। उनका कहना है कि अमेरिका और भारत को रक्षा व सुरक्षा सहयोग के मामले में आगे बढ़ना चाहिए।

वाल्ट्ज भारत और भारतीय-अमेरिकियों पर द्विदलीय कांग्रेसनल कॉकस के सह-अध्यक्ष हैं। उन्होंने 2023 में अमेरिका की यात्रा के दौरान कैपिटल हिल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण की व्यवस्था की थी। बता दें कि अमेरिकी सीनेट का इंडिया कॉकस एक द्विदलीय समूह है। इसमें वर्तमान में सीनेट के 40 सदस्य शामिल हैं। 2004 में तत्कालीन न्यूयॉर्क सीनेटर और विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन और सीनेटर जॉन कॉर्निन द्वारा स्थापित यह सीनेट में अपनी तरह का सबसे बड़ा कॉकस है।

चीन के प्रति आक्रामक रहे हैं वाल्ट्ज

वाल्ट्ज चीन के प्रति आक्रामक रहे हैं। उन्होंने कोविड-19 महामारी पैदा करने में चीन की संलिप्तता और उइगर मुसलमानों के साथ दुर्व्यवहार के कारण बीजिंग में 2022 के शीतकालीन ओलंपिक का अमेरिका से बहिष्कार करने का आह्वान किया था। वाल्ट्ज जो बाइडेन प्रशासन के अफगानिस्तान से सैनिकों को वापस बुलाने के फैसले के आलोचक रहे हैं।

वाल्ट्ज राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बनने से चीन के प्रति अमेरिका के रुख में और अधिक दृढ़ता आ सकती है। भारत के साथ साझेदारी और मजबूत हो सकती है। यह ऐसा गठबंधन है जिसके बारे में वाल्ट्ज लगातार तर्क देते रहे हैं कि यह क्षेत्रीय स्थिरता तथा पारस्परिक आर्थिक और सुरक्षा लाभों के लिए आवश्यक है।

यह भी पढ़ें- डोनाल्ड ने जीता चुनाव तो रूसी टीवी ने दिखाई मेलानिया ट्रम्प की नग्न तस्वीरें

PREV

अंतरराष्ट्रीय राजनीति, ग्लोबल इकोनॉमी, सुरक्षा मुद्दों, टेक प्रगति और विश्व घटनाओं की गहराई से कवरेज पढ़ें। वैश्विक संबंधों, अंतरराष्ट्रीय बाजार और बड़ी अंतरराष्ट्रीय बैठकों की ताज़ा रिपोर्ट्स के लिए World News in Hindi सेक्शन देखें — दुनिया की हर बड़ी खबर, सबसे पहले और सही तरीके से, सिर्फ Asianet News Hindi पर।

Recommended Stories

भिखारी पाकिस्तान की एयरलाइंस को क्यों खरीदना चहती है Asim Munir की सेना?
भारतीय टेक कर्मचारियों के लिए डोनाल्ड ट्रंप का सबसे SHOCKING डिसीजन, होगा बड़ा नुकसान!