म्यांमार की सेना ने अपने ही लोगों पर हवाई हमला किया है। इसके चलते महिलाओं, बच्चों समेत 100 लोगों के मारे जाने की सूचना आई है। एक चश्मदीद ने बताया है कि लोग टुकड़े-टुकड़े गए थे। लाशों से धुंआ निकल रहा था।
बैंकॉक। म्यांमार की सेना ने अपने देश के लोगों पर हवाई हमला किया है। लोगों की भीड़ पर की गई बमबारी से 100 लोगों के मारे जाने की खबर सामने आई है। हमला मंगलवार को किया गया था। मरने वालों में महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। म्यांमार की सेना जुंटा के प्रवक्ता जाव मिन तुन ने मंगलवार देर रात हमले की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि मंगलवार सुबह करीब 8 बजे पाजी ग्यी गांव में पीपुल्स डिफेंस फोर्स के ऑफिस का उद्घाटन समारोह था। हमने उस जगह पर हमला किया।
फाइटर प्लेन ने गिराया बम, अटैक हेलीकॉप्टर से हुई फायरिंग
हमला म्यांमार के सागैंग प्रांत के कनबालु टाउनशिप के पाजी ग्यी गांव में किया गया। यहां सैन्य शासन के खिलाफ लड़ रहे विद्रोही गुट ने कार्यक्रम आयोजित किया था। ऑफिस के उद्घाटन के अवसर पर बड़ी संख्या में स्थानीय लोग जुटे हुए थे। उसी वक्त म्यांमार की वायु सेना ने हमला कर दिया। पहले फाइटर प्लेन ने लोगों पर बम गिराए। बम धमाके से कई लोग मारे गए और मौके पर अफरा-तफरी मच गई। लोग जान बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे। बाद में अटैक हेलीकॉप्टर से लोगों पर फायरिंग की।
टुकड़े-टुकड़े हो गए थे लोग, लाशों से निकल रहा था धुंआ
न्यूज एजेंसी एसोसिएटेड प्रेस ने हमले के चश्मदीद से बात की है। गवाह ने अपनी पहचान बताए बिना बताया कि वह हमले के वक्त मौके पर था। उसने कहा, "मैं भीड़ से थोड़ी दूर खड़ा था। एक दोस्त ने मुझे फोन किया और बताया कि एक लड़ाकू विमान हमारी ओर आ रहा है। उस विमान ने सीधे भीड़ पर बम गिराए। मैं पास के एक गड्ढे में कूदकर छिप गया। कुछ देर बाद मैं बाहर आया और अपने आसपास देखा। मैंने देखा कि बहुत से लोग टुकड़े-टुकड़े हो गए हैं। हर तरफ शव बिखरे थे। कई शव तो जल रहे थे उनसे धुंआ निकल रहा था। जिस ऑफिस का उद्घाटन होना था वह पूरी तरह तबाह हो गया था और जल रहा था। करीब तीस लोग घायल हुए थे। जब घायलों को हॉस्पिटल ले जाया जा रहा था तभी एक हेलीकॉप्टर आया और फायरिंग कर दी। अब हम तेजी से मारे गए लोगों का अंतिम संस्कार कर रहे हैं।"
2021 में सेना ने किया था तख्तापलट
गौरतलब है कि म्यांमार ने फरवरी 2021 में तख्तापलट कर सत्ता पर कब्जा कर लिया था। सेना ने आंग सान सू की की निर्वाचित सरकार से सत्ता छीन ली थी। इसके बाद से विद्रोही गुट सैन्य शासन के खिलाफ संघर्ष कर रहे हैं। सुरक्षा बलों द्वारा 3,000 से अधिक नागरिकों के मारे जाने का अनुमान है।