रूस-यूक्रेन (Russia Ukraine conflict) के बीच बढ़ते तनाव ने सारी दुनिया को परेशानी में डाल दिया है। तमाम देशों के अलावा आम नागरिक भी युद्ध टालने की कामना कर रहे हैं। भारत के जाने-माने सैंड आर्टिस्ट सुदर्शन पटनायक(Sudarsan Pattnaik sand artist) ने ओडिशा में पुरी के समुद्र तट पर शांति का संदेश देती कलाकृति बनाई।
वर्ल्ड न्यूज डेस्क.रूस-यूक्रेन (Russia Ukraine conflict) के बीच बढ़ते तनाव ने सारी दुनिया को परेशानी में डाल दिया है। तमाम देशों के अलावा आम नागरिक भी युद्ध टालने की कामना कर रहे हैं। भारत के जाने-माने सैंड आर्टिस्ट सुदर्शन पटनायक(Sudarsan Pattnaik sand artist) ने ओडिशा में पुरी के समुद्र तट पर शांति का संदेश देती कलाकृति बनाई। इस बीच अमेरिका ने कहा है कि वो रूस के खिलाफ यूक्रेन को सैन्य मदद देगा। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि रूस ने यूक्रेन के चारों तरफ अपने सैनिक तैनात कर रखे हैं। उसकी हर चुनौती का मिलकर जवाब देंगे. जानिए ताजा घटनाक्रम...
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यूक्रेन को सैन्य मदद देगा अमेरिका
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन (US President Joe Biden) ने रूस के राष्ट्रपति व्लादमीर पुतिन (President Vladimir Putin) द्वारा पूर्वी यूक्रेन के अलगाववादी गणराज्यों डोनेट्स्क (Donetsk) और लुगांस्क (Lugansk) को स्वतंत्र मान्यता देने पर कड़ी कार्रवाई के संकेत दिए हैं। बाइडेन ने राष्ट्र को संबोधित अपने भाषण में रूस के दो वित्तीय संस्थानों VEB और रूस के सैन्य बैंक पर प्रतिबंध लगाने का ऐलान किया है। हालांकि व्हाइट हाउस प्रेस सचिव जेन साकी ने कहा कि रूस के लिए कूटनीति का द्वार अभी भी खुला है। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भी रूस पर आर्थिक प्रतिबंधों के पहले दौर की घोषणा कर दी है। इधर, रूस की संसद ने राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के उस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है, जिसमें रूसी सेना को दूसरे देश में कार्रवाई करने के लिए भेजा जा सकता है।
240 भारतीय छात्र लौटे
इस बीच मंगलवार रात करीब 11.30 बजे एयर इंडिया एक एक विशेष विमान यूक्रेन से 240 भारतीय छात्रों को लेकर यहां पहुंचा। भारत की जमीन पर पैर रखते ही छात्रों ने भारत माता की जय के नारे लगाए। यह फ्लाइट उन छात्रों और भारतीय नागरिकों को वापस लेकर आई है, जिन्होंने मंगलवार रात के लिए यूक्रेन (Ukraine) के बोरिस्पिल एयरपोर्ट से सुरक्षित वापसी के लिए रजिस्ट्रेशन कराया था। एअर इंडिया के सूत्रों के मुताबिक यूक्रेन से भारत के लिए संचालित होने वाली एअर इंडिया (AI-1946) की पहली विशेष उड़ान भारत पहुंची।
यह है विवाद की वजह
रूस यूक्रेन की नाटो की सदस्यता का विरोध कर रहा है। लेकिन यूक्रेन की समस्या है कि उसे या तो अमेरिका के साथ होना पड़ेगा या फिर सोवियत संघ जैसे पुराने दौर में लौटना होगा। दोनों सेनाओं के बीच 20-45 किमी की दूरी है। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन पहले ही रूस को चेता चुके हैं कि अगर उसने यूक्रेन पर हमला किया, तो नतीजे गंभीर होंगे। दूसरी तरफ यूक्रेन भी झुकने को तैयार नहीं था। उसके सैनिकों को नाटो की सेनाएं ट्रेनिंग दे रही हैं। अमेरिका को डर है कि अगर रूस से यूक्रेन पर कब्जा कर लिया, तो वो उत्तरी यूरोप की महाशक्ति बनकर उभर आएगा। इससे चीन को शह मिलेगी। यानी वो ताइवान पर कब्जा कर लेगा।
नाटो क्या है
नॉर्थ अटलांटिक ट्रिटी ऑर्गेनाइजेशन(नाटो) की स्थापना 4 अप्रैल 1949 को 12 संस्थापक सदस्यों द्वारा अमेरिका के वॉशिंगटन में किया गया था। यह एक अंतर- सरकारी सैन्य संगठन है। इसका मुख्यालय बेल्जियम की राजधानी ब्रुसेल्स में अवस्थित है। वर्तमान में इसके सदस्य देशों की संख्या 30 है। इसकी स्थापना का मुख्य उद्देश्य पश्चिम यूरोप में सोवियत संघ की साम्यवादी विचारधारा को रोकना था। इसमें फ्रांस, बेल्जियम,लक्जमर्ग, ब्रिटेन, नीदरलैंड, कनाडा, डेनमार्क, आइसलैण्ड, इटली,नार्वे, पुर्तगाल, अमेरिका, पूर्व यूनान, टर्की, पश्चिम जर्मनी और स्पेन शामिल हैं।
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