रूस और यूक्रेन के बीच बीते 2 सालों से जंग जारी है। दोनों देश अपने-अपने तरीके जंग को लड़ रहे हैं। यूक्रेन को एक तरफ अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस से मदद मिल रही है। दूसरी तरफ रूस भी अपने मित्र देशों से मदद ले रहा है।
रूस-यूक्रेन वॉर। रूस और यूक्रेन के बीच बीते 2 सालों से जंग जारी है। दोनों देश अपने-अपने तरीके जंग को लड़ रहे हैं। यूक्रेन को एक तरफ अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस से मदद मिल रही है। दूसरी तरफ रूस भी अपने मित्र देशों से मदद ले रहा है। हाल ही में अमेरिका ने यूक्रेन को मदद के तौर पर गुप्त रूप से लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइलें सौंपी हैं। इस बात की पुष्टि खुद अमेरिकी रक्षा मुख्यालय पेंटागन ने की है। इसी बीच अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने चीन, ईरान और उत्तर कोरिया पर हथियारों एवं टेक्नोलॉजी से रूस की मदद करने का आरोप लगाया है।
पेंटागन के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल गैरॉन गार्न ने बुधवार को कहा कि राष्ट्रपति बाइडेन ने फरवरी में यूक्रेनी क्षेत्र में इस्तेमाल के लिए लंबी दूरी की ‘आर्मी टैक्टिकल मिसाइल सिस्टम’ (ATACMS) की आपूर्ति को गुप्त रूप से मंजूरी दे दी थी। बता दें कि बैलिस्टिक मिसाइलों की मारक क्षमता 300 किलोमीटर तक है। इसके बाद बाइडेन रूस पर हमलावर हो गए और कहा कि उन्हें ईरान, चीन और उत्तर कोरिया लगातार मदद पहुंचा रहा है।
अमेरिकी राष्ट्रपति का बड़ा हमला
अमेरिकी राष्ट्रपति ने यूक्रेन सहायता पैकेज देते के साथ कहा कि यह पैकेज न केवल यूक्रेन की रक्षा में बल्कि यूरोप की रक्षा और हमारी अपनी सुरक्षा के लिए निवेश सरीखा है। बाइडेन ने आरोप लगाया कि चीन, ईरान और उत्तर कोरिया रूस को हथियार और प्रौद्योगिकी की आपूर्ति कर रहे हैं। बता दें कि बीते साल रूस और नॉर्थ कोरिया के बीच हथियारों की एक डील हुई थी, जिसमें किम जोंग उन ने रूस को बम के गोले देने की बात की थी। इसके अलावा ईरान से भी रूस को कामीकेज ड्रोन मुहैया किए गए है।
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