इलाज के लिए पैसों की जरूरत होने पर अपनी मंथली बेसिक का 6 गुना या फिर इंप्लॉयर के योगदान पर मिला ब्याज निकाल सकते हैं। दोनों में से जो रकम कम होगी, उसे निकाल सकते हैं।
अपनी शादी या बेटे-बेटी, भाई-बहन की शादी में पीएफ का पैसा निकाल सकते हैं। इसके लिए नौकरी करते हुए 7 साल पूरे होने चाहिे। कुल कॉन्ट्रिब्यूशन का 50% निकाल सकते हैं।
एजुकेशन या 10वीं पूरा कर चुके बच्चे के एजुकेशन के लिए पीएफ का पैसा निकाल सकते हैं। इसमें भी 7 साल नौकरी वाली शर्त है और आप 50 परसेंट तक पैसा विदड्रॉल कर सकते हैं।
अगर नौकरी करते 5 साल पूरे हो गए हैं तो घर के लिए बेसिक सैलरी और महंगाई भत्ते के 36 गुना औरजमीन के लिए 24 गुना तक पीएफ निकाल सकते हैं। इसमें कुछ शर्तें और भी हैं।
अगर नौकरी करते हुए 10 साल पूरे हो गए हैं तो होम लोन भरने के लिए मंथली बेसिक सैलरी और महंगाई भत्ते का 36 गुना या कंपनी कॉन्ट्रिब्यूशन के ब्याज समेत पूरा पैसा पीएफ से निकाल सकते हैं।
अगर 5 साल से नौकरी कर रहे हैं और घर रेनोवेशन करवाना है तो पीएफ से पैसा निकाल सकते हैं। यह अमाउंट बेसिक सैलरी प्लस महंगाई भत्ते का 12 गुना हो सकता है। इसमें कुछ शर्तें भी हैं।
EPF (Employee Provident Fund) बचत और रिटायरमेंट फंड की तरह है। इसमें कर्मचारी की सैलरी का 12% हर महीने जमा होता है। इतना ही अमाउंट कंपनी पीएफ में जमा करती है।
PF से दो शर्तों में पूरा पैसा निकाल सकते हैं। पहला- आपकी उम्र 60 हो गई हो या नौकरी छोड़े 2 महीने हो गए हो। हालांकि, ऊपर बताए जरूरी काम के लिए पीएफ का कुछ हिस्सा पहले निकाल सकते हैं