बैंक सैलरीड और बिजनेसमैन को ही लोन देते हैं। बेरोजगार को बैंक लोन देने से इनकार कर सकते हैं। हालांकि, अगर कुछ बातों का ध्यान रखकर आप नौकरी न होने पर भी पर्सनल लोन पा सकते हैं।
आजकल कई बैंक आपकी कीमती संपत्तियों जैसे ज्वेलरी, कार के बदले कम ब्याज पर पर्सनल लोन ऑफर कर रहे हैं। इसे सिक्योर लोन कहते हैं बड़ी ही आसानी से आप नौकरी न रहने पर भी लोन पा सकते हैं।
मान लीजिए आप कार पर सिक्योर लोन या पर्सनल लोन लेना चाहते हैं तो कार के इंश्योरेंस पेपर पर लिखी गाड़ी की कीमत (IDV) का डेढ़ गुना तक लोन मिल सकता है।
बेरोजगारी में पर्सनल लोन लेने का दूसरा आसान तरीका है आप किसी को गारंटर बनाकर पर्सनल लोन पा सकते हैं। बस गारंटर की फिक्स्ड इनकम होनी चाहिए, इससे बैंक लोन देने से इनकार नहीं करेंगे।
अगर गारंटर बनाकर लोन का आवेदन करते हैं तो पर्सनल लोन आसानी से मिल जाएगा। अगर आप डिफॉल्ट करते हैं तो लोन की EMI और पूरा लोन गारंटर को भरना होगा। इसी भरोसे पर बैंक लोन देते हैं।
ऐसी कई सरकारी योजनाएं भी हैं, जो बेरोजगारों को लोन उपलब्ध करवाती हैं। इनका मकसद उन्हें काम देना होता है। मुद्रा लोन स्कीम ऐसी ही एक सरकारी योजना है।
इस योजना में 50 हजार से लेकर 50 लाख रुपए तक का लोन मिल सकता है। हालांकि, इसका इस्तेमाल सिर्फ बिजनेस के लिए ही कर सकते हैं।
बेरोजगारी में पर्सनल लोन देने से पहले बैंक कई कड़ी शर्तें लगाते हैं। हाई क्रेडिट स्कोर और कम लोन अमाउंट के अलावा ज्यादा ब्याज वसूलते हैं, क्योंकि उन्हें इसमें जोखिम लगता है।