ITI का फुलफॉर्म Industrial Training Institute इसे हिंदी में औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान कहते हैं इस कोर्स की शुरुआत भारतीय छात्रों को वोकेशनल ट्रेनिंग देने के उद्देश्य से की गई है।
आईटीआई कोर्स पूरा करने के बाद छात्र को ऑल इंडिया ट्रेड टेस्ट(AITT) में उपस्थित होना होता है जहां उन्हें नेशनल ट्रेड सर्टिफिकेट (NTC) दिया जाता है।
आईटीआई कोर्स पूरा करने के लिए 6 महीने से 2 वर्ष की अवधि लगती है। यदि आप 10वीं पास करने के बाद यह कोर्स करते हैं तो इसके लिए और अधिक समय भी लग सकता है।
ITI काेर्स 2 प्रकार के होते हैं। इंजीनियरंग कोर्स और नॉन इंनीजियरंग कोर्स। इंजीनियरिंग कोर्स पूरी तरह से इंजीनियरिंग के मैथ्स, साइंस एंड टेक्नोलॉजी कॉन्सेप्ट पर बेस्ड होते हैं।
नॉन इंजीनियरिंग कोर्स में किसी भी टेक्नोलॉजी की आवश्यकता नहीं है। यह पूरी तरह से सॉफ्ट स्किल और नॉलेज बेस्ड होता है।
ITI कोर्स के लिए 10वीं, 12वीं पास छात्र अप्लाई कर सकते हैं। कोर्स में ड्राफ्ट्समैन सिविल, ड्राफ्ट्समैन मैकेनिकल, इलेक्ट्रिशियन मैकेनिक, इंस्ट्रूमेंट मैकेनिक व अन्य हैं।
ITI Course के लिए एडमिशन सरकारी और प्राइवेट कॉलेज, यूनिवर्सिटी में स्टूडेंट की योग्यता के अनुसार दिया जाता है कुछ मेरिट के आधार पर तो कुछ टेस्ट के आधार पर एडमिशन लेते हैं।
आईटीआई कोर्स करने के बाद नौकरी के अनगिनत विकल्प खुल जाते हैं। ITI करने के बाद सरकारी और प्राइवेट दोनों संस्थानों में नौकरी के लिए अप्लाई कर सकते हैं।
सरकारी नौकरी की बात करें तो भारतीय रेलवे में नौकरियां (ग्रुप डी ), सेल, गेल, बीएचईएल में नौकरियां, सरकारी विभागों, मंत्रालयों, पीडब्ल्यूडी और रक्षा क्षेत्र में नौकरी कर सकते हैं।
कॉरपोरेट, कंपनीज, होटल, हॉस्पिटल, इंडस्ट्री, इलेक्ट्रीशियन, प्लम्बर जैसे संस्थानों में नौकरियां आसानी से मिल जाती हैं।
आईटीआई डिप्लोमा करने के बाद सरकारी क्षेत्र में 40000 से 60000 तक सैलरी हो सकती है। प्राइवेट में शुरुआत में 12000 से 15000 तक की नौकरी मिल जाती है। जो अनुभव के साथ बढ़ती है।