अमिताभ बच्चन स्टारर फिल्म 'नास्तिक' की रिलीज को 42 साल हो गए हैं।यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर एवरेज रही थी। लेकिन इसमें डायलॉग्स शानदार थे, जिनमें से 8 डायलॉग यहां पढ़ सकते हैं…
ये शहर अब जंगल बन गया है...यहां दिन को इंसान और रात को शैतान घूमते हैं।
सीधी सच्ची बातें करने के लिए कलेजा चाहिए।
नसीब इंसान का बनता है ठोकरें खाने के बाद...और रंग लाती है हिना पत्थर पे पिस जाने के बाद।
दौलत से बिस्तर खरीदा जा सकता है, नींद नहीं...औरत खरीदी जा सकती है, प्यार नहीं...झूठ खरीदा जा सकता है, सच्चाई नहीं।
जहां शेर की हुकूमत चलती है, वहां छोटे-मोटे जानवरों का आना-जाना मना है।
मैं तेरी मौत इतनी खराब कर दूंगा कि तुझे देख कर मौत का फ़रिश्ता भी कांप उठे।
मैं तो उस अंधेरे घर का चिराग हूं, जहां दिल भी जलाओ तो रोशनी नहीं आ सकती।
शंकर पत्थर को नहीं, दिल को पूजता है...और दिल कभी पत्थर का नहीं होता।