Year Ender 2023: LGBTQ marriage समेत ये 5 बड़े फैसले जो चर्चा में रहे
Other Lifestyle Dec 13 2023
Author: Shivangi Chauhan Image Credits:Our own
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LGBTQIA+ समुदाय की शादी
सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की बेंच ने भारत में LGBTQIA+ समुदाय को शादी में समानता देने के अधिकार से मना किया। सामान्य लोगों जैसे अधिकार LGBTQIA समुदाय को भी दिए जाने चाहिए।
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बच्चा गोद लेने का अधिकार
ट्रांसजेंडर व्यक्तियों को व्यक्तिगत कानूनों सहित मौजूदा कानूनों के तहत शादी करने का अधिकार है। समलैंगिक जोड़े सहित अविवाहित जोड़े मिलकर एक बच्चे को गोद ले सकते हैं।
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महिला को मेंटेनेंस नहीं दिया जाएगा
एक याचिका पर दिल्ली हाईकोर्ट ने नौकरी कर रही महिला को भरण-पोषण देने से इनकार किया। क्योंकि महिला योग्य होने के साथ नौकरी कर रही थी। ऐसे में पति पर भरण-पोषण का मामला नहीं बनता है।
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पोर्नोग्राफी से जुड़े केस पर हाईकोर्ट
शख्स द्वारा सड़क किनारे पोर्न वीडियो देखने पर पुलिस ने शिकायत की थी। केस को केरल हाईकोर्ट ने रद्द किया। क्योंकि पोर्न क्लिप देखना अपराध नहीं है। ये पुरुष या महिला का निजी फैसला है।
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बालिग कपल के अधिकार
लिवइन पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा किसी भी बालिग कपल को साथ रहने की स्वतंत्रता है भले ही वो अलग जाति या धर्म के हों। किसी को भी उनके शांतिपूर्ण जीवन में हस्तक्षेप का अधिकार नहीं है।
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लिव इन नहीं होगा वैलिड
बीवी को तलाक दिए बगैर दूसरी औरत के साथ लिव-इन-रिलेशनशिप में रहने को शादी जैसा संबंध नहीं कहा जा सकता है। एक मामले पर कोर्ट ने कहा था कि ऐसा लिवइन रिलेशन कानूनी रूप वैलिड नहीं है।