अपने सपने को पूरा करने के लिए स्मृति बहुत ही कम उम्र में मुंबई आ गई थीं। यहां पर उन्हें एक रेस्त्रां में वेट्रेस का भी काम करना पड़ा। लेकिन संघर्ष करने से वो कभी घबराई नहीं।
काफी संघर्षों के बाद स्मृति ने मॉडलिंग की दुनिया में कदम रखा। इसके बाद मिस इंडिया 1998 प्रतियोगिता में उतरी और फाइनलिस्ट बनीं। फिर कुछ वक्त उन्होंने मॉडलिंग कीं।
कहते हैं कि अगर चाहत बड़ी हो और मेहनत अपार हो तो मंजिल मिल ही जाती हैं। एकता कपूर की 'क्योंकि सास भी कभी बहू थी' सीरियल के लिए उन्होंने ऑडिशन दिया और मुख्य अभिनेत्री बन गईं।
'क्योंकि सास भी कभी बहू थी'में तुलसी का उनका किरदार आज भी लोगों के दिलों में बसा है। इसके बाद उन्होंने क्या हादसा क्या हकीकत, एक थी नायका समेत कई सीरियल्स कीं।
उन्हें 2001 से 2005 तक भारतीय टेलीविजन अकादमी द्वारा सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री के रूप में सम्मानित किया गया था।'क्योंकि सास भी कभी बहू थी' सीरियल्स के लिए उन्हें कई अवॉर्ड मिले।
2003 में स्मृति ईरानी बीजेपी में शामिल हुईं और अपनी पहचान बनाई। 2004 में उन्हें महाराष्ट्र यूथ विंग के उपाध्यक्ष पद पर नियुक्त किया गया था।
पीएम मोदी और अमित शाह का दिल स्मृति ने अपने काम से जीत लिया। उन्होंने साल 2019 में अमेठी से राहुल गांधी को हराया और सांसद बनीं। मोदी कैबिनेट में उन्हें मंत्री बनाया गया।
स्मृति ने लेखन में भी हाथ आजमाया है और 2021 में अपनी पहली किताब लिखी है। उनकी पहली किताब 'लाल सलाम' को पाठकों का खूब प्यार मिला।
स्मृति पर सहेली के पति से शादी करने का भी आरोप लगा। साल 2001 में उन्होंने पारसी बिजनेसमैन जुबिन ईरानी से शादी की। वो पहले से शादीशुदा थे और तलाक लेकर स्मृति से शादी कीं।