मानसून में ह्यूमिटी होने की वजह से स्किन चिपचिपी महसूस होती है। जिस पर आसानी से धूल जम जाती है। चेहरे पर गंदगी लगने की वजह से मुहांसे निकलने लगते हैं।
स्किन को हर मौसम में मॉइश्चराइज करना जरूरी होता है। लेकिन मानसून में मॉइश्चराइजर को लेकर सतर्क होना पड़ता है। हैवी मॉइश्चराइजर की बजाय नॉन कॉमेडोजेनिक मॉइश्चराइजर लगाना चाहिए।
स्किन से मृत कोशिकाओं को हटाने के लिए स्क्रब हर वीक करना जरूरी है। लेकिन मानसून में हार्श एक्सफोलिएटर नहीं करना चाहिए। ये नेचुरल ऑयल छिन लेते हैं। जिससे स्किन ड्राई हो जाती है।
मानसून के मौसम में हैवीमेकअप नहीं करना चाहिए। नमी की वजह से मेकअप आसानी से मेल्ट होने लगता है और स्किन को नुकसान पहुंचाती है।पोर्स क्लॉग होने से मुहांसे निकलने लगते हैं।
मानसून में ऑयली स्किन केयर प्रोडक्ट्स को भी बदल देना चाहिए। यह भी पिंपल्स निकलने की वजह बन सकती है। इस मौसम में वाटर और मिनरल बेस्ट प्रोडक्ट्स का इस्तेमाल करें।
मानसून में ठंडे पानी या फिर गुनगुने पानी से फेस वॉश करें। स्किन में नेचुरल ऑयल बरकरार रहता हैं।
बरसात के मौसम में कंघी, मेकअप ब्रश, तौलिया जैसी चीजों को शेयर नहीं करना चाहिए। बैक्टीरिया इसकी वजह से आप तक पहुंच सकता है और इंफेक्शन फैला सकता है।