Badrinath Temple Facts: बद्रीनाथ मंदिर से जुड़ी 5 रोचक-अनसुनी बातें
Spiritual May 12 2024
Author: Manish Meharele Image Credits:social media
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हिंदुओं का प्रमुख धाम है बद्रीनाथ
उत्तराखंड में स्थित बद्रीनाथ धाम के कपाट आज यानी 12 मई, रविवार को खुल चुके हैं। ये स्थान हिंदुओं के प्रमुख 4 धामों में से भी एक है। जानें इस मंदिर से जुड़े कुछ रोचक फैक्ट्स…
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स्वयं प्रकट हुई है ये प्रतिमा
बद्रीनाथ मंदिर में भगवान विष्णु की जो प्रतिमा है, उसके बारे में कहते हैं कि ये श्रीहरि की उन 8 प्रतिमाओं में से एक है, जो स्वंय प्रकट हुई हैं। यहीं भगवान ने तपस्या भी की थी।
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आदि गुरु शंकराचार्य ने निकाली प्रतिमा
ये स्थान सालों से हिंदुओं की आस्था का केंद्र है लेकिन बद्रीनाथ धाम को आदि गुरु शंकराचार्य ने 9वीं शताब्दी में स्थापित किया। उन्होंने ही अलकनंदा नदी से बद्रीनाथ की मूर्ति निकाली थी।
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इसलिए नाम पड़ा बद्रीनाथ
जब भगवान विष्णु यहां तपस्या कर रहे थे, तब देवी लक्ष्मी ने बेर के वृक्ष के रूप में उनके ऊपर छाया की थी। बेर को बद्री भी कहा जाता है, इसलिए इस स्थान का नाम बद्रीनाथ पड़ा।
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तीन चाबी से खुलता है ये मंदिर
बद्रीनाथ मंदिर में 6 महीने ही दर्शन होते हैं। अक्षय तृतीया के बाद इसके कपाट खोले जाते हैं तो इसके लिए 3 चाबियों का उपयोग होता है। ये चाबियां अलग-अलग लोगों के पास होती है।
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तिल के तेल से होता है अभिषेक
भगवान बद्रीनाथ का अभिषेक तिल के तेल से करने की परंपरा है, जो टिहरी राज परिवार देता है। बद्रीनाथ टिहरी राज परिवार के आराध्य हैं। मंदिर की एक चाबी इनके पास भी होती है।