आचार्य चाणक्य ने अपनी पुस्तक नीति शास्त्र में लाइफ मैनेजमेंट के अनेक सूत्र लिखे हैं। ये सूत्र हमारे लिए भी बहुत काम के हैं। इन सूत्रों में महिलाओं से जुड़ी कईं बातें बताई गई हैं।
आचार्य चाणक्य ने अपनी एक नीति में बताया है कैसे वृक्ष, स्त्री और राजा जल्दी ही नष्ट हो जाते हैं। स्त्रियों के नष्ट होने से अर्थ है कि वे बहक जाती हैं या कोई गलत निर्णय ले लेती हैं।
चाणक्य नीति के अनुसार, नदी के किनारे खड़े वृक्ष, दूसरे के घर में बार-बार जाने वाली स्त्री और मंत्री के बिना राजा शीघ्र ही नष्ट हो जाते है। इसमें कोई संशय यानी शक नहीं करना चाहिए।
जब नदी में बाढ़ आती है तो वह अपने साथ आस-पास के पेड़-पौधों को भी बहाकर ले जाती है। इसलिए आचार्य चाणक्य ने कहा है कि नदी किराने खड़े वृक्ष जल्दी ही नष्ट हो जाते हैं।
यदि स्त्री बार-बार किसी दूसरे के घर में आती-जाती है तो उसके बहकने की संभावना बहुत अधिक हो जाती है यानी उसके चरित्र में दोष आ सकता है और वो गलत निर्णय ले सकती है।
कोई भी राजा बिना मंत्रियों की सलाह के सही निर्णय नहीं ले पाता। यदि मंत्री न हो तो राजा गलत निर्णय ले सकता है और ऐसा करने से उसका राज-पाठ जल्दी ही खत्म हो सकता है।