आज के इलेक्ट्रॉनिक युग में रक्षाबंधन पर आ रहीं राखियां भी हाईटेक हो गईं हैं। बाजार में आ रहीं क्यूआर कोड वाली राखियां इलेक्ट्रॉनिक गैजेट से कम नहीं हैं।
इलेक्ट्रॉनिक युग में क्यूआर कोड ज्यादातर मोबाइल पेमेंट के लिए ही स्कैन किया जाता है। लेकिन अब राखियों में भी क्यूआर कोड आ रहा है जो बच्चों के एंटरटेनमेंट के लिए यूज हो रहा है।
क्यूआर कोड वाली राखियां इस बार खास होंगी। ऐसे में क्यूआर कोड स्कैन करते ही मोबाइल पर रक्षाबंधन की एनिमेटेड मूवी दिखाई जाएगी।
मोबाइल पेमेंट की तरह ही क्यूआर कोड को एक वेबसाइट से लिंक किया गया है। ऐसे में मोबाइल से क्यूआर कोड स्कैन करते ही यह वेबसाइट से लिंक हो जाएगी और मूवी शुरू हो जाएगी।
अलवर जिला राजस्थान में राखी प्रोडक्शन के मामले में अव्वल है। यहां की राखियां प्रदेश के बाहर भी सप्लाई की जाती हैं। राखी का भी करोड़ों का टर्नओवर है।
रक्षाबंधन का त्यौहार 30 अगस्त को है। ऐसे में अलवर में दो महीने पहले से ही तरह-तरह की राखियां के लिए ऑर्डर आ गए थे। अब उन्हें सप्लाई किया जा रहा है।