यहूदियों के देश इजराइल में बड़ी संख्या में अरब मुसलमान भी रहते हैं। इन्हीं में से एक बदू समुदाय भी है, जो खानाबदोश अरब रहे और दक्षिण इजरायल के रेतीले हिस्से पर रहते थे।
बदू मुसलमानों के पास अरब के बाकी समुदायों की तरह पैसा और पावर नहीं हुआ करता था। ये लोग चरवाहे का काम करते थे और सीमा पर ही रहा करते थे।
16वीं सदी में तुर्क के शासकों ने इजरायल पर कब्जा कर लिया। त इजराइली लोगों ने मजबूत और ईमानदार बदू मुस्लिम जिनका अरब से वास्ता नहीं था, उन्हें सुरक्षा में तैनात करना शुरू किया।
जब इजराइल बना तब खुफिया सोर्स नहीं था, ऐसे में अरब देशों के हमसे के दौरान चरवाहे बनकर इन मुस्लिमों ने जानकारी इकट्ठा की और IDF तक पहुंचाईं। इसके बाद उनकी सेना में भर्ती शुरू हुई।
इजराइली सेना में आने के बाद बदू मुस्लिमों को IDF की मदद के बदले हर तरह की सुविधाएं मिली। सेना ने दक्षिणी हिस्से में भी उनकी एक टुकड़ी तैनात की गई, जो गाजा के करीब का इलाका है।
गाजा के पास इजराइली सेना की टुकड़ी में साल 1986 में बदू मुस्लिमों की भर्ती की गई। आज इजरायल के सभी सीमावर्ती इलाकों में ये मुस्लिम तैनात हैं और देश की रक्षा करते हैं।
इजराइल में दो लाख से ज्यादा बदू मुसलमान हैं। 2021 में करीब 600 बदू ने मिलिट्री ट्रेनिंग के लिए रजिस्टर करवाया। IDF के मुताबिक, हर साल करीब 450 बदू मुस्लिम सेना में शामिल होते हैं।
दुनिया में 40 लाख के करीब बदू मुसलमान हैं। इजराइल के अलावा मिस्र, सीरिया, जॉर्डन, सऊदी, इराक और लीबिया में ये रहते हैं। सुन्नी बदू में पुरुष-महिलाएं दोनों सिर पर स्कार्फ लगाते हैं।
कई सालों तक रेगिस्तान में रहने के कारण इनके शरीर और दिमाग काफी मजबूत हैं। रेत में पांवों के हल्के निशान देखकर भी ये बता सकते हैं कि वहां से पुरुष गुजरा या महिला। इनकी कई खासियत हैं