राम मंदिर को लेकर राजद के प्रदेश अध्यक्ष का बड़ा बयान, बोले- नफरत की जमीन पर बन रहा मंदिर

अयोध्या में बन रहे भव्य राम मंदिर के लिए भले ही देश विदेश के तमाम लोगों की आस्थाएं जुडी हों, लेकिन इस मंदिर पर देश के अंदर ही राजनीति जारी है। राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने अयोध्या राम मंदिर को लेकर एक बड़ा और विवादित बयान दिया है।

Ujjwal Singh | Published : Jan 7, 2023 7:21 AM IST / Updated: Jan 07 2023, 05:41 PM IST

पटना(Bihar). अयोध्या में बन रहे भव्य राम मंदिर के लिए भले ही देश विदेश के तमाम लोगों की आस्थाएं जुडी हों, लेकिन इस मंदिर पर देश के अंदर ही राजनीति जारी है। राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने अयोध्या राम मंदिर को लेकर एक बड़ा और विवादित बयान दिया है। उन्होंने कहा कि भारत की भूमि राम और कृष्ण की मानी जाती थी। अब सब खत्म हो गया है। अब राम रामायण से भाग जाएंगे। कण-कण से हट जाएंगे। यह भारत राम का नहीं रहेगा। केवल एक मंदिर राम का रहेगा। 

राष्ट्रीय जनता दल के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने कहा कि नफरत की जमीन पर राम के मंदिर का निर्माण हो रहा है। राम उसी एक मंदिर में बैठ जाएंगे। पत्थरों के बीच रहेंगे, हृदय के बीच में नहीं रहेंगे। आरएसएस वाले यही कर रहे हैं। हम तो हे राम वाले हैं, जय श्री राम वाले नहीं। हमारे राम तो भारत के राम भारत के कण-कण में रहेंगे, आरएसएस वालों के राम जहां-जहां बैठें! उन्होंने कहा- भारत के कण-कण से सिमट कर पत्थरों की चारदीवारी में राम को कैद किया जा रहा है। क्योंकि इंसानियत से बड़ा इस भारत में उन्मादियों के राम बचे हैं। बाकी सब जगह से राम खत्म हो गए। 

कण-कण के राम को मंदिर में कैद कर रहा आरएसएस
अयोध्या के निर्माणाधीन राम मंदिर निर्माण में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा को लेकर उन्होंने कहा कि वह अपने राम को कैद कर लेंगे, यहां तो राम का असली वास शबरी की झोपड़ी में है। वह जब खुद थे, तब न अयोध्या में कैद हुए, न रावण को हराने के बाद लंका में उनका वास हुआ। जगदानंद सिंह ने कहा- भारत की जनता तो सदियों से रामायण को लेकर बैठी है, सुबह से शाम तक जपती है, क्योंकि उसे वहां राम मिलते हैं। आरएसएस वालों को पता नहीं कि लोगों के हृदय से छीनकर राम को पत्थर के आलीशान भवन में नहीं कैद किया जा सकता है।

इसे भी पढ़ें...

दलाई लामा की बोधगया यात्रा तिब्बत मुद्दे के लिए काफी अहम, 8000 से अधिक विदेशी श्रद्धालुओं ने कराया पंजीकरण

Share this article
click me!