इनकम टैक्स फाइल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई यानी आज है। ऐसे में अगर आप आज ITR फाइल करने से चुके जाते है, तो आपको कई समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते है कि डेडलाइन के ITR दाखिल करने के प्रभाव पड़ने वाला है।
बिजनेस डेस्क. फाइनेंशियल ईयर 2023-24 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई है। टैक्सपेयर्स उम्मीद की जा रही है कि ITR फाइल करने की डेडलाइन बढ़ाई जाएगी। हालांकि, बीते साल इस मामले में तारीख में कोई बदलाव नहीं किया गया था। कोरोना काल के दौरान ITR फाइल करने की डेडलाइन बढ़ाई गई थी। मालूम हो कि वित्तीय वर्ष में अब तक लगभग 6 करोड़ ITR फाइल किए जा चुके हैं। इसमें 70% रिटर्न न्यू टैक्स रिजीम के तहत दाखिल किए गए हैं।
डेडलाइन के बाद ITR फाइल करने पर ये नुकसान
आयकर विभाग ने ITR फाइल करने की डेडलाइन 31 जुलाई तय की थी। जिन्होंने डेडलाइन से पहले तक आईटीआर फाइल नहीं किया है, तो उन्हें कई समस्या आ सकती है। इसके बाद 31 दिसंबर तक ITR फाइल तो कर सकते हैं, लेकिन उन्हें इसके लिए लेट फीस देनी होगी। साथ ही पुरानी टैक्स रिजीम में आने का ऑप्शन बंद हो जाएगा। यानी की टैक्सपेयर्स सिर्फ नई टैक्स रिजीम के साथ ही ITR फाइल कर पाएंगे। ऐसे में आप ट्यूशन फीस, बीमा की किस्त, होम लोन पर ब्याज आदि के जरिए मिलने वाली छूट का लाभ नहीं ले पाएंगे।
डेडलाइन के बाद ITR फाइल करने पर लेट फीस
अगर डेडलाइन से पहले अपना ITR फाइल नहीं कर पा रहे है, तो आप लेट फीस के साथ ITR फाइल कर सकते हैं। इसके लिए इनकम टैक्स की धारा 234 F के तहत 5000 रुपए तक की लेट फीस लग सकती है। अगर आपकी आय 5 लाख रुपए या इससे कम है, तो आपको 1 हजार रुपए लेट फीस लगेगी। इसके अलावा अगर आप पर कोई टैक्स लगता है, तो उस पर 1% दर से ब्याज लिया जाएगा।
इन लोगों को डेडलाइन में छूट
इनकम टैक्स विभाग के मुताबिक, जिन खातों को ऑडिटिंग की जरूरत है, उन्हें 31 जुलाई की डेडलाइन में छूट मिली है। ये लोग 31 अक्टूबर तक ITR फाइल कर सकते हैं। साथ ही जिन खातों से अंतरराष्ट्रीय लेनदेन में शामिल उद्योगों के लिए ITR फाइल करने के लिए डेडलाइन 30 नवंबर है।
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