Work-Life Balance Unique Story: मलेशिया में रहने वाली दो बच्चों की मां, रेचल कौर, रोजाना फ्लाइट से ऑफिस जाती हैं। ऐसा वह अपने परिवार और काम दोनों को बैलेंस करने के लिए करती हैं। जानिए
Work-Life Balance Racheal Kaur Unique Story: हर सुबह लाखों लोग ऑफिस पहुंचने के लिए बस, मेट्रो, टैक्सी या कार से सफर करते हैं। लेकिन एक भारतीय मूल की महिला, जो दो बच्चों की मां भी हैं, उनका ऑफिस जाने का तरीका बिल्कुल अलग है। वे न तो ट्रेन लेती हैं और न ही कार, बल्कि हर दिन फ्लाइट से सफर करती हैं!
मलेशिया में रहने वाली रेचल कौर (Racheal Kaur) एक एयरलाइन कंपनी एयरएशिया में फाइनेंस ऑपरेशंस की असिस्टेंट मैनेजर हैं। सीएनए को दिए अपने इंटरव्यू में रेचल ने बताया है कि उनका घर पिनांग (Penang) में है, लेकिन उनका ऑफिस कुआलालंपुर (Kuala Lumpur) में स्थित है। रोज ऑफिस जाने के लिए वह सुबह 4 बजे उठती हैं, 5 बजे घर से निकलती हैं और 6:30 बजे की फ्लाइट पकड़ती हैं। लगभग 700 किलोमीटर का सफर तय करने के बाद वह सुबह 7:45 बजे ऑफिस पहुंचती हैं।
आपको लग रहा होगा कि हर दिन फ्लाइट पकड़ना बेहद महंगा होगा, लेकिन हकीकत इससे उलट है। पहले जब वह कुआलालंपुर में किराए के घर में रहती थीं, तो हर महीने करीब 41,000 रुपये ($474) खर्च करती थीं। लेकिन अब, रोज फ्लाइट से सफर करने के बाद भी उनका खर्च 27,000 रुपये ($316) प्रति माह ही आता है, जो पहले की तुलना में कम है।
पहले रेचल सिर्फ सप्ताह में एक बार घर जाती थीं, जिससे उनका परिवार से कनेक्शन टूटने लगा। लेकिन 2024 में उन्होंने बड़ा फैसला लिया, हर दिन फ्लाइट से अप-डाउन करने का। इससे वे रात को बच्चों के साथ समय बिता सकती हैं और सुबह फिर से ऑफिस के लिए निकल जाती हैं। उनके दो बच्चे हैं, एक बेटा 12 साल का और बेटी 11 साल की।
रोज लंबा सफर करने के बावजूद रेचल इसे बोझ नहीं मानती। फ्लाइट के दौरान वे म्यूजिक सुनती हैं, प्रकृति का आनंद लेती हैं और रिलैक्स करती हैं। ऑफिस पहुंचने के बाद वे पूरे फोकस से काम करती हैं और घर लौटकर सिर्फ अपने परिवार के साथ समय बिताती हैं।
आजकल कई लोग वर्क फ्रॉम होम पसंद करते हैं, लेकिन रशेल को ऑफिस में काम करना ज्यादा पसंद है। उनका मानना है कि सहकर्मियों के साथ काम करने से टास्क जल्दी और बेहतर तरीके से पूरे होते हैं।
ये भी पढ़ें- कौन हैं रणवीर अल्लाहबादिया? शो में कही आपत्तिजनक बात पर मचा बवाल
रेचल की कंपनी एयरएशिया उनके इस फैसले का समर्थन कर रही है। उन्हें लगता है कि इस फैसले से रेचल को बेहतर वर्क-लाइफ बैलेंस मिला है और उनकी प्रोडक्टिविटी भी बढ़ी है।
ये भी पढ़ें- Study Abroad: भारतीय स्टूडेंट्स के लिए फ्रांस में पढ़ाई क्यों है फायदेमंद? टॉप यूनिवर्सिटी, फीस और करियर ऑप्शन
रोज सुबह 4 बजे उठना और फ्लाइट पकड़कर ऑफिस जाना शारीरिक रूप से थका देने वाला हो सकता है, लेकिन रेचल कहती हैं कि घर लौटकर बच्चों की मुस्कान देखते ही सारी थकान दूर हो जाती है। हालांकि, जब लोग उनके इस रूटीन के बारे में सुनते हैं, तो कई लोग उन्हें 'पागल' भी कहते हैं। लेकिन रेचल को इस फैसले पर कोई पछतावा नहीं है।
रेचल कौर की कहानी उन लोगों के लिए प्रेरणा है, जो काम और परिवार के बीच संतुलन बनाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। उनका मानना है कि अगर सही प्लानिंग की जाए, तो कोई भी चुनौती असंभव नहीं होती।
ये भी पढ़ें- राष्ट्रपति भवन में शादी से पहले जानिए पूनम और अवनीश की प्यार भरी कहानी