2. ये क्या बात हुई पागल को पागल मत बोलो?
3. नया कोच गधा है।
मैं टीम कैसे बनाऊं, टीम तो नॉर्मलों की बनती है ना?
सब अपने-अपने नॉर्मल पर टिके बैठे हैं कोच साब...सबका अपना-अपना नॉर्मल होता है...आपका नॉर्मल आपका, उनका नॉर्मल उनका।
कभी न कभी सबको रिस्पॉन्सिबिलिटी उठानी पड़ती है।
हम जीतने के लिए आए हैं, बेइज्ज़ती करने के लिए नहीं।
अर्जुन को सिर्फ चिड़िया की आंख दिखती है...समझा तू...एक तू है...एक चिड़िया की आंख।
Gagan Gurjar