प्रधानमंत्री मोदी ने 'आत्मनिर्भर भारत' पर जोर दिया है। इसके पीछे मंशा है कि लोगों की आर्थिक स्थिति सुधरे। वे खुद का काम-धंधा शुरू करके अच्छा-खासा कमा सकें। यह कहानी यूपी के गौतम बुद्ध नगर के रहने वाले दुर्लभ रावत की है। 36 वर्षीय दुर्लभ मैकेनिकल इंजीनियर हैं। डिग्री के बाद ये भी एक समय नौकरी के लिए मारे-मारे फिरते थे। जैसे-तैसे करके एक प्राइवेट कंपनी में जॉब मिल गई। करीब 12 साल नौकरी की, लेकिन मजा नहीं आया। न काम में और न सैलरी को लेकर। इसके बाद उन्होंने नौकरी छोड़ने की ठानी। शुरुआत में परिजनों और दोस्तों आदि ने हैरानी जताई। लेकिन दुर्लभ अपना खुद का बिजनेस शुरू करना चाहते थे। 2016 में नौकरी छोड़ने के बाद दुर्लभ ने अपनी डेयरी शुरू की। शुरुआत में दिक्कतें हुईं, लेकिन आज इनकी डेयरी का टर्न ओवर 2.5 करोड़ रुपए है। इनके पास आज 7000 से ज्यादा कस्टमर्स हैं। इन्होंने कइयों को जॉब दे रखा है।