Womens Day 2022: महिला दिवस पर इन नारी शक्ति को सलाम: देश की वो IPS बेटियां, जिनके सामने खौफ खाते हैं अपराधी

रायपुर/जयपुर. आज पूरी दुनिया 8 मार्च को विश्न अंतराष्ट्रीय महिला दिवस (International Women's Day) मना रहा है। भारत की इन बेटियों को जब-जब मौके मिले हैं महिलाओं ने अपनी क्षमता, बुद्धिमता और ताकत का परिचय दिया है। वो हर क्षेत्र में शानदार प्रदर्शन करके शक्ति की मिसाल बनी हैं। कानूनी दाव-पेंच हो या सियासी सूझबूझ, खेल का मैदान हो या आसमान में फाइटर प्लेन उड़ाना, हर मोर्चे पर बेटियां शिखर तक जा पहुंची हैं। तो चलिए आज हम आपको मिलवाते है ऐसी IAS और IPS महिलाओं से जिन्हें देखकर आप भी कहोगे की वाह क्या बात है..यह महिला अफसर निडर होकर अपराधियों पर कहर बनकर टूटती हैं। उनके काम करने के इसी अंदाज की वजह से बड़े से बड़े अपराधी उनके नाम से कांपते हैं। तो आइए मिलिए इन दबंग लेडी अफसरों से...

Asianet News Hindi | Published : Mar 8, 2022 8:21 AM IST / Updated: Mar 08 2022, 01:56 PM IST

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Womens Day 2022: महिला दिवस पर इन नारी शक्ति को सलाम: देश की वो IPS बेटियां, जिनके सामने खौफ खाते हैं अपराधी


सबसे पहले मिलए लेडी IPS अंकिता शर्मा से जो होम कैडर पाने वाली छत्तीसगढ़ की पहली महिला IPS बनी हैं। अंकिता शर्मा ने साल 2018 में यूपीएससी की परीक्षा में 203 रैंक हासिल की थी। आईपीएस अंकिता इन दिनों छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित बस्तर में असिस्टेंट सुपरिटेंडेंट पद पर हैं और नक्सल ऑपरेशन की कमान संभाल रही हैं। बस्तर में नक्सल ऑपरेशन की कमान संभालने वाली वे पहली महिला आईपीएस अधिकारी हैं। 32 साल की अंकिता शर्मा मूलत: दुर्ग की रहने वाली हैं। उनके पिता राकेश शर्मा व्यापारी हैं और मां सविता शर्मा गृहिणी हैं। अंकिता तीन बहनों में सबसे बड़ी हैं। उन्होंने एक इंटरव्यू के दौरान बताया था कि मेरा बचपन से ही आईपीएस बनने का सपना था जो दो साल पहले 2018 में तीसरे अटैम्प्ट में सच हो गया। उनके पिता राकेश शर्मा व्यापारी हैं और मां सविता शर्मा गृहिणी हैं। अंकिता तीन बहनों में सबसे बड़ी हैं।

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ये महिला आईपीएस अफसर प्रीति चंद्रा हैं जो राजस्थान कैडर की अधिकारी हैं। वो 2008 बैच की आईपीएस हैं वो राजस्थान के कई जिलों में  एसपी रह चुकी हैं। यह अपने काम करने के अंदाज से लेडी सिं’घम के नाम से जानी जाती हैं। प्रीति चंद्रा की साल 1979 को राजस्थान के सीकर जिले के गांव कुंदन में जन्मी। एम.फिल तक पढ़ाई करने के बाद वह यूपीएससी की परीक्षा की तैयारी करने लगी। अवैध खनन के लिए कुख्यात बीहड़ के जंगलों में डकैतों के खिलाफ चलाए गए हर ऑपरेशन में महिला आइपीएस खुद मोर्चा संभालती है। वह कई इनामी डकैतों को सरेंडर करवा चुकी हैं। उनके नाम से अपराधी कांप उठते हैं।

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IPS डी रूपा काफी फेमस अफसर हैं उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा में ऑल इंडिया 43वीं रैंक हासिल की थी। उन्होंने आईएएस छोड़ IPS के पद को चुना था। रूपा अपने 20 साल के करियर में करीब 40 बार ट्रांसफर झेल चुकी हैं।  डी रूपा ही वह आईपीएस हैं, जो 2004 में एक वारंट को तामील कराने के लिए कर्नाटक से उमा भारती को गिरफ्तार करने एमपी के लिए निकल पड़ीं थी। वो भी जब उमा भारती मुख्यमंत्री थीं। रूपा का कहना है कि वो आसानी से आईएएस बन सकती थीं, लेकिन पुलिस सर्विसेज के शौक के कारण उन्होंने आईपीएस चुना। पुलिस सर्विसेज के अलावा रूपा एक बेहतरीन ट्रेंड भरतनाट्यम डांसर हैं। इसके साथ ही इन्होंने भारतीय संगीत की ट्रेनिंग भी ली है। रूपा ने बयालाताड़ा भीमअन्ना नामक कन्नड फिल्म में एक प्लेबैक सिंगर के रूप में गीत भी गाया है।

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इनसे मिलिए यह साहसी महिला आईपीएस अधिकारी मंजिता वंजारा हैं, जिन्होंने 2011 में उन्होंने सिविल सेवा परीक्षा पास की थी। जिता वंजारा इससे पहले National Insitute of Fashion technology, गांधीनगर की पूर्व छात्रा भी रह चुकी हैं। वो एक पढ़ी-लिखी फैशन डिजायनर तथा एक सुपर कॉप दोनों ही हैं। उन्होंने अपना ग्रेजुएशन निरमा यूनिवर्सिटी, गुजरात से किया है। पोस्ट ग्रेजुएशन में उन्होंने गोल्ड मेडल भी हासिल किया है। वह निडर होकर अपराधियों पर कहर बनकर टूटती हैं। अप्रैल 2017 में लेडी पुलिस अफसर ने बुर्का पहन कर जुए के अड्डे पर रेड डालकर काफी सुर्खियां बटोरी थीं। मंजिता कई सेक्स रैकेट के खुलासे के लिए रेड मार चुकी हैं।

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इनसे मिलिए ये हैं 2006  बैच की बहादुर आईपीएस अफसर संजुक्ता पराशर जो "आयरन लेडी ऑफ असम " के नाम से जानी जाती हैं। संजुक्ता असम के सोनितपुर जिले में बतौर एसपी तैनात है। बेहद खूबसूरत होने के साथ ही वे बहुत बहादुर भी है। उन्होंने 15 महीने के कार्यकाल में 16 आतकियों को ढेर और 64 को गिरफ्तार किया था। संजुक्ता सोशल मीडिया पर भी काफी एक्टिव रहती हैं और युवाओं को पुलिस फोर्स ज्वाइन करने के लिए मोटिवेट करती हैं।

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यह महिला आईपीएस अफसर हैं मेरिन जोसेफ हैं। वह केरल कैडर के सबसे कम उम्र के आईपीएस अधिकारी, ने 25 साल की उम्र में 2012 में अपने पहले प्रयास में ही यूपीएससी परीक्षा पास की है। मेरिन का जन्म  दिल्ली में हुआ और उन्होंने सेंट स्टीफंस कॉलेज से स्नातक और मास्टर डिग्री पूरी की। उनके पिता कृषि मंत्रालय में वरिष्ठ सलाहकार हैं और उनकी मां अर्थशास्त्र की प्रोफेसर हैं। वह अपने काम के अनोखे अदाज के लिए जानी जाती हैं।
 

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