गुरुग्राम, हरियाणा. लॉकडाउन के बीच कवि हरिवंशराय बच्चन की कविता 'मधुशाला' एक बार फिर से चर्चाओं में हैं। ये पंक्तियां उसी कविता का एक अंश हैं। लॉकडाउन फेज-3 में जैसे ही लिकर शॉप्स खोलने की परमिशन मिली, दुकानों पर लोग यूं टूट पड़े..जैसे कोई ऑफर आया हो। इन तस्वीरों ने उन लोगों को हैरान कर दिया, जो कोरोना संक्रमण से बचने अपने-अपने घरों से नहीं निकल रहे। शराब की दुकानों पर लगी भीड़ न तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रही और न ही सैकड़ों लोग मास्क पहने देखे गए। लोग शराब ऐसे खरीदकर ले जाते देखे गए, जैसे लॉकडाउन के पहले फेज में किराना और सब्जियां खरीदते देखे गए थे। इनमें से ज्यादातर तस्वीरें हरियाणा के गुरुग्राम की हैं। हरियाणा में बुधवार से शराब की दुकानें खोल दी गईं। 41 दिन बाद दुकानें खुलते ही भीड़ टूट पड़ी। कई जगह पुलिस को व्यवस्था संभालने बड़ी दिक्कत हुई। उधर, पंजाब में ऐसी कई तस्वीरें सामने आई थीं, जिसमें शराबी की दुकानों बाहर भीड़ देखी गई थी। इसके बाद पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने होम डिलीवरी के आदेश संबंधी फाइल पर हस्ताक्षर कर दिए। यानी 7 मई से सुबह 9 से दोपहर 1 बजे तक शराब का ऑर्डर देकर शाम 6 बजे तक घर पर होम डिलीवरी कराई जा सकती है। आगे देखिए मधुशालाओं के बाहर का हैरान करने वाला मंजर...