Published : Dec 02, 2020, 05:12 PM ISTUpdated : Dec 02, 2020, 05:13 PM IST
औरंगाबाद, महाराष्ट्र. वर्ष, 2020 जिंदगी को कई ऐसे जख्म दे गया, जिन्हें भर पाने में लंबा समय लगेगा। कोरोना संक्रमण की दहशत के बीच लॉकडाउन के चलते घरों को भागते मजदूरों के साथ कई घटनाएं हुईं। पैदल अपने गांव को लौटते कई मजदूर घर तक नहीं पहुंच पाए। औरंगाबाद में 8 मई को ट्रेन से कटकर 16 मजदूरों की मौत हो गई थी। ये वो अभागे लोग थे, जो फैक्ट्री बंद हो जाने के बाद पैदल रेलवे ट्रैक पर चलकर अपने गांव लौट रहे थे। सभी मजदूरों की उम्र 20-30 वर्ष के बीच थी। ये मध्य प्रदेश के रहने वाले ये मजदूर जालना में एसआरजी स्टील कंपनी में काम करते थे। इन्हें उम्मीद थी कि औरंगाबाद से उन्हें मध्य प्रदेश के लिए कोई वाहन मिल जाएगा। वे पटरियों के सहारे आगे बढ़ रहे थे, तभी तड़के एक मालगाड़ी उन्हें कुचलते हुए निकल गई थी। आगे देखें हादसे की तस्वीरें...
मीलों पैदल चलने से मजदूर थक चुके थे। इसलिए वे कुछ देर पटरी पर सो गए थे। उन्हें लगा था कि लॉकडाउन के कारण ट्रेनें बंद हैं। लेकिन यह नहीं मालूम था कि इक्का-दुक्की मालगाड़ी चल रही हैं।
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हादसे में 16 मजदूरों के ट्रेन से कटने पर टुकड़े हो गए थे। यह घटना वर्ष 2020 के एक बड़े हादसे में गिनी जाती है।
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वर्ष, 2020 की यह घटना लंबे समय तक लोगों की रूह कंपाती रहेगी।
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हादसे के बाद पटरी पर मजदूरों का सामान बिखरा पड़ा था। जगह-जगह खून और मांस के टुकड़े पड़े थे।
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लॉकडाउन में देशभर में कई हादसे हुए, लेकिन औरंगाबाद की घटना ने सारे देश को हिलाकर रख दिया था।
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मजदूर अपने साथ रोटियां बांधकर चले थे। हादसे के बाद रोटियां पटरी पर बिखरी पड़ी थीं।
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हादसे के बाद घटनस्थल पर इतना भयानक मंजर था कि आम लोग तो देख ही नहीं सके।
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हादसे के बाद पटरी पर पड़ी खून से रंगीं रोटियां।
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रोटियां और जूते-चप्पल एक ही पोटली में शायद ही कभी किसी ने देखे हों। लेकिन इस हादसे ने सब बराबर कर दिए।
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वर्ष, 2020 इस हादसे के कारण भी इन मजदूरों को परिवारों को रुलाता रहेगा।