108 फीट ऊंची मूर्ति के हाथ में 4000 किलो वजनी तलवार, ये हैं बेंगलुरु के जनक केम्पेगौड़ा, मोदी ने किया उद्घाटन

बेंगलुरु(Bengaluru). प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 11 और 12 नवंबर, 2022 को कर्नाटक, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के दौरे पर हैं। इस मौके पर प्रधानमंत्री ने केम्पेगौड़ा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के टर्मिनल 2 के उद्घाटन के बाद नादप्रभु केम्पेगौड़ा की 108 फुट की कांस्य प्रतिमा का अनावरण किया। ये बेंगलुरु के विकास की दिशा में शहर के संस्थापक नादप्रभु केम्पेगौड़ा के योगदान की स्मृति में बनाई गई है। स्टैच्यू ऑफ यूनिटी वाले राम वी. सुतार द्वारा संकल्पित और गढ़ी गई, इस प्रतिमा को बनाने में 98 टन कांस्य और 120 टन स्टील का उपयोग किया गया है। जानिए मूर्ति की और खासियत और केम्पेगौड़ा के बारे में..

Amitabh Budholiya | Published : Nov 11, 2022 1:50 AM IST / Updated: Nov 11 2022, 12:17 PM IST
16
108 फीट ऊंची मूर्ति के हाथ में 4000 किलो वजनी तलवार, ये हैं बेंगलुरु के जनक केम्पेगौड़ा, मोदी ने किया उद्घाटन

नादप्रभु केम्पेगौड़ा मूर्ति कितनी भव्य है, इसका अंदाजा इसके हाथ में पकड़ाई तलवार की विशालता को देखकर आसानी से किया जा सकता है। तलवार 35 फीट लंबी और 4,000 किलो की है। इसे दिल्ली से बेंगलुरु एयरपोर्ट तक पहुंचाने के लिए स्पेशल ट्रक मंगवाया गया था।

26

नादप्रभु केम्पेगौड़ा विजयनगर साम्राज्य के शासक थे। विजयनगर साम्राज्य के शासकों ने 14वीं से 17वीं शताब्दी तक शासन किया था। इस दौरान इन्होंने यहां कई ऐतिहासिक मंदिरों का निर्माण कराया।

36

बेंगलुरु एयरपोर्ट परिसर में निर्मित करीब 23 एकड़ के हेरिटेज पार्क में नादप्रभु केम्पेगौड़ा की मूर्ति स्थापित की गई है। केम्पेगौड़ा की 511वीं जयंती के मौके पर कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने 2020 के जून में इस प्रोजेक्ट की नींव रखी थी। 

46

अनुमान है कि नादप्रभु केम्पेगौड़ा की मूर्ति पर लगभग 85 करोड़ रुपये की लागत आई है। इस मूर्ति के जरिये मकसद है केम्पेगौड़ा के जीवन और उनकी उपलब्धियों को दुनिया तक पहुंचाना है।

यह भी पढ़ें-गुजरात चुनाव में BJP ने जारी की 160 उम्मीदवारों की पहली लिस्टः मुख्यमंत्री, हार्दिक और क्रिकेटर की बीवी का नाम

56

नादप्रभु केम्पेगौड़ा की मूर्ति  का निर्माण पद्म भूषण पुरस्कार से सम्मानित राम वी सुतार की निगरानी में किया गया। इन्होंने ही गुजरात की प्रसिद्ध स्टैच्यू ऑफ यूनिटी को डिजाइन किया है। प्रसिद्ध मूर्तिकार सुतार महाराष्ट्र के धुलिया जिले के रहने वाले हैं। उन्होंने जेजे स्कूल ऑफ आर्ट, बॉम्बे से ग्रैजुएशन किया है। उन्हें गोल्ड मेडल मिला था। देश में स्मारकीय मूर्तियां बनाने वाली बड़ी कंपनियों में राम सुतार की कंपनी फाइन आर्ट्स प्राइवेट लिमिटेड भी शामिल है।

यह भी पढ़ें-दिल्ली MCD चुनाव के लिए BJP ने जारी किया घोषणापत्र, झुग्गी बस्ती में रहने वाले हर परिवार को मिलेगा पक्का घर

66

बेंगलुरु के केम्पेगौड़ा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर नादप्रभु केम्पेगौड़ा की 108 फीट की प्रतिमा के आसन(pedestal) पर खड़े  लोग। यह मूर्ति बेंगलुरु की पहचान बनेगी।

Read more Photos on
Share this Photo Gallery
click me!

Latest Videos

Recommended Photos