बेटे के आखिरी शब्द, मां मैंने पाकिस्तानी बंकर तोड़ डाले...लेकिन 2 दिन बाद मिली दिल तोड़ने वाली खबर
जयपुर, राजस्थान. देशभक्ति के जज्बे से जुड़ी यह इमोशनल कहानी शहीद राजीव सिंह शेखावत की है। वे 8 फरवरी को जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा पर पाकिस्तानी सेना की गोलीबारी में शहीद हो गए थे। रविवार को जब शहीद तिरंगे में लिपटा घर लौटा..तो पूरे गांव में भारत मात की जय..के नारे गूंज रहे थे। यह सुनकर शहीद के परिजनों को गर्व महसूस हो रहा था, लेकिन आंखों से आंसू भी झर-झर बह रहे थे। बताते हैं कि शहादत से 2 दिन पहले राजीव ने मां पुष्पा कंवर को फोन करके गर्व से कहा था कि उसने पाकिस्तानी बंकर तोड़ दिए हैं। वो अपनी टुकड़ी में सबसे आगे चल रहा था। यह सुनकर मां का सीना गर्व से चौड़ा हो गया था।
Asianet News Hindi | Published : Feb 12, 2020 6:41 AM IST / Updated: Feb 12 2020, 12:13 PM IST
राजीव की मां पुष्पा बताती हैं कि उनके पति शंकरसिंह भी सेना में थे। 18 फरवरी 1984 को जब वे जम्मू-कश्मीर में तैनात थे, तब आर्मी हॉस्पिटल में राजीव का जन्म हुआ था। तब नर्स ने कहा था कि आपके यहां बहादुर बेटा जन्मा था। अब 36 साल बाद सचमुच साबित हो गया कि उनका बेटा बहादुर था।
उल्लेखनीय है कि भाबय के लुहाकना खुर्द निवासी राजीव सिंह शेखावत अगले साल रिटायर होने वाले थे। अपने पति की शहादत की खबर सुनकर उनकी पत्नी दहाड़ मारकर रो पड़ी।
राजीव के पिता सूबेदार से रिटायर हुए थे। उनके ससुर भंवरसिंह भी सेना में हैं। परिवार को खुशी है कि वे देश के लिए काम आ रहे।
उल्लेखनीय है कि राजीव सिंह 17 साल की नौकरी पूरी कर चुके थे। अगले साल वे रिटायर होने वाले थे।
अपने पिता को मुखाग्नि देते समय राजीव के बेटे अधिराज ने कहा कि वो दुश्मन से अपने पिता की मौत का बदला जरूर लेगा। वो भी सेना में जाएगा।
राजीव जनवरी में ही श्रीगंगानगर से जम्मू-कश्मीर में तैनात हुए थे। वे अपने घर में इकलौते बेटे थे। उनकी एक बड़ी बहन सीमा कंवर है। बहन ने कहा कि वो सितंबर में मायके आई थी। तब भाई से मिली थी। वो हमेशा डाक से राखी भेजती थी।