टीचर ने कचरे से बना दिया कमाल का रोबोट, जो 9 भारतीय और 28 विदेशी भाषाओं में करती है बात

जौनपुर (Uttar Pradesh) । शिक्षा और अपराध की क्षेत्र में अलग पहचान बनाने वाला जौनपुर फिर चर्चाओं में आ गया है। मड़ियाहूं तहसील क्षेत्र के रजमलपुर गांव निवासी और केंद्रीय विद्यालय के शिक्षक दिनेश पटेल ने तीन साल में कचरे को एकत्र कर रोबोट "शालू" बनाया है, जो नौ भारतीय और 38 विदेशी भाषा बोलने में सक्षम है। बता दें कि इसका निर्माण बेहद साधारण प्लास्टिक, गत्ता, लकड़ी व एल्युमिनियम की वस्तुओं से किया गया है। इसे बनाने में तीन वर्ष का समय और 50 हजार रुपए की लागत आई है।

Asianet News Hindi | Published : Mar 16, 2021 12:49 PM IST
14
टीचर ने कचरे से बना दिया कमाल का रोबोट, जो 9 भारतीय और 28 विदेशी भाषाओं में करती है बात

फिल्म देखकर मिली प्रेरणा
रजमलपुर गांव निवासी दिनेश पटेल मुंबई आईआईटी के केंद्रीय विद्यालय में कंप्यूटर साइंस के शिक्षक हैं। उन्होंने एमसीए तक की पढ़ाई की है। वे बताते हैं कि फिल्म रोबोट से प्रभावित होकर कुछ नया करने का सोचने लगे। हांगकांग की रोबोटिक्स कंपनी हैंसन रोबोटिक्स की सोफिया रोबोट उनकी प्रेरणा बनी। इसके लिए 2017 में प्रयास शुरू किए। लकड़ी, गत्ता, एल्युमिनियम, प्लास्टिक का इस्तेमाल कर करीब तीन साल की मेहनत से उन्होंने इस रोबोट को तैयार किया है। 

(हांगकांग की रोबोटिक्स कंपनी हैंसन रोबोटिक्स की सोफिया रोबोट की तस्वीर)

24

ये भाषाएं जानती रोबोट
दिनेश पटेल के मुताबिक रोबोट की प्रोग्रामिंग भी उन्होंने खुद तैयार की। यह हिंदी, भोजपुरी, मराठी, बंगला, गुजराती, तमिल, मलयालम, नेपाल, उर्दू के अलावा अंग्रेजी, जर्मन, जापानी सहित 38 विदेशी भाषाओं में भी बातचीत में सक्षम है।

(खुद द्वारा तैयार किए गए रोबोट के साथ शिक्षक दिनेश पटेल)

34

ये काम कर सकती है रोबोट
दिनेश पटेल का दावा है कि रोबोट "शालू"  शिक्षक के रूप में किसी स्कूल में काम कर सकती है। विभिन्न कार्यालयों में एक रिसेप्शनिस्ट के रूप में भी उपयोग किया जा सकता है। वो आम लोगों की तरह ही चेहरा पहचानने, व्यक्ति को मिलने के बाद याद रखने, उसके साथ बातचीत करने, कई सामान्य वस्तुओं की पहचान करने, सामान्य ज्ञान, गणित आदि पर आधारित शैक्षिक प्रश्नों का उत्तर देने में सक्षम है। इतना ही नहीं, यह मानव की तरह ही हाथ मिलाना, मजाक करना, खुशी, क्रोध, जलन दर्शाना, दैनिक समाचार पढ़ना, दैनिक राशिफल पढ़ना, रेसिपी बताना, प्रश्नोत्तर और साक्षात्कार भी कर सकती है।

44

वर्जन-2 पर चल रहा है काम
इसी वर्ष नवंबर में तैयार दिनेश पटेल के इस रोबोट को आईआईटी मुंबई के कई प्राध्यापकों ने भी सराहा है। उन्होंने बताया कि शालू अभी एक प्रोटोटाइप है। इसे और बेहतर बनाने के लिए वर्जन-2 पर भी काम शुरू कर दिया है।

Share this Photo Gallery
click me!

Latest Videos

Recommended Photos