अयोध्या में बनेंगे विश्व के टॉप ब्रांड्स के होटल,ऐसे तैयार हो रहा प्लान; 1000 करोड़ से होगा परिसर का डेवलपमेंट

Published : Aug 22, 2020, 04:13 PM ISTUpdated : Aug 22, 2020, 04:16 PM IST

अयोध्या(Uttar Pradesh). राम की नगरी अयोध्या धार्मिक और टूरिस्ट डेस्टिनेशन के लिए बड़ा लैंडमार्क बनने जा रहा है। अयोध्या में जहां पहले सिर्फ छोटे होटल और धर्मशालाएं नजर आती थीं वहीं अब कुछ सालों में वहां लग्जरी फाइव स्टार होटल्स नजर आएंगे। यहां ताज होटल से लेकर रेडिसन ब्लू और आईटीसी होटल समेत तमाम टॉप होटल ब्रांड्स अपनी दिलचस्पी दिखा रहे हैं। माना जा रहा है कि आने वाले कुछ सालों में पूरी अयोध्या में आधुनिकता का बोलबाला होगा और एक नई अयोध्या का निर्माण होगा।  

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अयोध्या में बनेंगे विश्व के टॉप ब्रांड्स के होटल,ऐसे तैयार हो रहा प्लान; 1000 करोड़ से होगा परिसर का डेवलपमेंट

राम मंदिर के निर्माण कार्य के शुरू होते ही अयोध्या में अब बिजनेस की गतिविधियां भी शुरू हो गई हैं। बताया जा रहा है कि देश के प्रमुख होटल ब्रांड यहां पर टूरिज्म और धार्मिक स्थल के रूप में संभावित डेस्टिनेशन को देखते हुए अभी से इसका जायजा ले रहे हैं। इस संबंध में कुछ प्रमुख होटल ग्रुप यहां सरकार के साथ बात भी कर रहे हैं। बताया ये भी जा रहा है कि फ्रांस के अग्रणी होटल समूह में से एक एकॉर और रेडिसन होटल ने यहां पर संभावनाओं को तलाशना शुरू कर दिया है। एकॉर भारत में पहले से ही कई होटलों के साथ साझेदारी कर बिजनेस कर रहा है। 

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सूत्रों के मुताबिक उत्तर प्रदेश सरकार से इस संबंध में कई होटल ग्रुप ने संपर्क किया है। माना जा रहा है कि टॉप होटल ब्रांड्स ने यहां दिलचस्पी दिखाई है। इसके लिए सरकार आनेवाले समय में करीबन 600 एकड़ जमीन को होटल, रेस्टोरेंट और शॉपिंग मॉल के लिए दे सकती है। बताया जा रहा है कि मंदिर परिसर के आसपास अयोध्या में तकरीबन 200 नए होटल और रेस्टोरेंट खोले जा सकते हैं।

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(प्रतीकात्मक तस्वीर)

ओयो रूम्स भी अयोध्या में कारोबार विस्तार करने की योजना पर काम कर रही है। कंपनी यहां धार्मिक प्लेस में पहुंचने वाले घरेलू यात्रियों पर फोकस करेगी। ओयो के पास सबसे ज्यादा इस समय पूछताछ धार्मिक प्लेस को लेकर हो रही है। ऐसे में कंपनी को उम्मीद है कि कम बजट में रूम मिलने के कारण आने वाले समय में अयोध्या में उनका कारोबार बढ़ेगा। 
 

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हवाई मार्ग से अयोध्या आने के लिए फिलहाल लखनऊ, प्रयागराज, वाराणसी एयरपोर्ट का प्रयोग ज्यादा होता है। लखनऊ की दूरी यहां से 134 किलोमीटर है तो प्रयागराज की 166 और वाराणसी की 209 किलोमीटर दूरी है। प्रयागराज और लखनऊ एयरपोर्ट पर अगले कुछ समय में हवाई यातायात की मांग बढ़ेगी। इसलिए एयरलाइंस कंपनियां यहां अपनी सेवाएं बढ़ा सकती हैं। 
 

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यहां मंदिरों के दर्शन के लिए राम की पैड़ी की ख़ास अहमियत है। यह सरयू नदी के तट पर बना घाटों का समूह है। हनुमानगढ़ी, बिरला टेंपल, कनक भवन, नागेश्वरनाथ मंदिर, देवकाली आदि भी इसी परिसर में हैं। बता दें कि राम मंदिर के निर्माण पर करीबन 300 करोड़ रुपए खर्च किया जाएगा। जबकि यहां मंदिर के आस-पास के परिसर को डेवलप करने के लिए करीबन 1000 करोड़ रुपए के खर्च करने का अनुमान है। इसमें मंदिर परिसर के आस पास की करीबन 20 एकड़ जगह डेवलप होगी।

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