81 किलो का भाला, 72 किलो का छाती का कवच और भारी-भरकर 2 तलवारों के साथ हल्दीघाटी में उतरा था यह योद्धा

राजस्थान के मेवाड़ स्थित कुंभलगढ़ दुर्ग महाराणा प्रताप की बहादुरी के लिए हमेशा जाना जाएगा। इसी दुर्ग में 9 मई, 1540 में महाराणा प्रताप का जन्म हुआ था। वर्तमान में कुंभलगढ़ राजसमंद जिले का हिस्सा है। महाराणा प्रताप के 17 बेटे थे। महाराणा प्रताप को मुगल सम्राट अकबर के साथ लड़े गए हल्दीघाटी युद्ध के कारण जाना जाता है। वैसे तो हल्दी घाटी का युद्ध सिर्फ एक दिन हुआ था, लेकिन इसमें 17000 सैनिक मारे गए थे। महाराणा प्रताप का निधन 19 जनवरी, 1940 को हुआ था। पढ़िए एक बहादुर की कहानी...

Asianet News Hindi | Published : Jan 19, 2021 4:54 AM IST
110
81 किलो का भाला, 72 किलो का छाती का कवच और भारी-भरकर 2 तलवारों के साथ हल्दीघाटी में उतरा था यह योद्धा

यहां हुआ था जन्म
महाराणा प्रताप सिंह सिसोदिया उदयपुर मेवाड़ में सिसोदिया राजपूत राजवंश के राजा था। महाराणा प्रताप ने मुगलों से कई बार युद्ध लड़ा और उन्हें हराया। उनका जन्म राजस्थान के कुंभलगढ़ में महाराजा उदयसिंह और मां रानी जयवंताबाई के घर पर हुआ था।
 

210

बहादुरी का आलम
1576 के हल्दी घाटी युद्ध में महाराणा प्रताप ने सिर्फ 500 भील योद्धाओं के बूते आमेर के सरदार राजा मानसिंह की 80000 सेना का मुकाबला किया था।
(राजा रवि वर्मा द्वारा बनाया गया महाराणा प्रताप का चित्र)

310

महाभारत जैसा युद्ध
18 जून, 1576 ई. में मुगल सम्राट अकबर और महाराणा प्रताप के बीच भीषण युद्ध हुआ था। इसे महाभारत जैसा युद्ध मानते हैं। यह युद्ध इतिहास में हल्दी घाटी के नाम से जाना जाता है। 

410

अकबर भी हैरान था
हल्दीघाटी युद्ध में महाराणा प्रताप के पास 20000 सैनिक थे, जबकि अकबर के पास 85000 सेना। इसके बावजूद महाराणा प्रताप की सूझबूझ और बहादुरी के आगे अकबर परेशान रहा।

510

11 शादियां
इतिहासिक दस्तावेजों में हवाला दिया गया है कि महाराणा प्रताप ने 11 शादियां की थीं। हालांकि ये सभी राजनीतिक कारणों से हुई थीं। महाराणा प्रताप को बचपन में किका के नाम से पुकारा जाता था।

610

चेतक की कहानी
इतिहास में महाराणा प्रताप के घोड़े चेतक का भी जिक्र मिलता है। जब हल्दी घाटी के युद्ध में मुगल सेना महाराणा प्रताप के पीछे पड़ गई, तो चेतक उन्हें अपनी पीठ पर बैठाकर एक लंबे नाले तक को छलांग मारकर पार कर गया था। चित्तौड़ की हल्दी घाटी में चेतक की समाधि बनी हुई है।

710

भीलों के साथ बीता बचपन
महाराणा प्रताप का बचपन भील समुदाय के साथ बीता। उन्होंने भीलों से ही युद्ध कला सीखी थी। भील अपने पुत्रों को किका कहकर पुकारते थे। इसलिए महाराणा प्रताप का नाम भी बचपन में किका था।

810

जब अकबर रो पड़ा
अकबर कहने को तो महाराणा प्रताप का दुश्मन था, लेकिन वो भी इनकी मृत्यु पर रोया था। अकबर क्रूर तरीके से अपने राज्य का विस्तार करना चाहता था। जबकि महाराणा प्रताप अपनी मातृभूमि के लिए संघर्ष कर रहे थे। इसी वजह से अकबर को भी उनकी मृत्यु पर दु:ख हुआ था।

910

जब अकबर डर गया
1579-1585 में पूर्वी उत्तर प्रदेश, बंगाल, बिहार और गुजरात में मुगलों के खिलाफ विद्रोह हो गया था। इधर, महाराणा प्रताप भी लगातार मुगलों को हराते जा रहे थे। अकबर विद्रोह दबाने में लगा था। इसी का फायदा उठाकर महाराणा प्रताप ने 1585 में मेवाड़ और उदयपुर सहित करीब 36 खास स्थल जीत लिए। महाराणा प्रताप के डर से अकबर अपनी राजधानी लाहौर लेकर चला गया। जब महाराणा प्रताप की मृत्यु हुई, तब वो राजधानी वापस आगरा लेकर आया।

1010

महाराणा प्रताप और टीवी/सिनेमा
महाराणा प्रताप और अकबर के प्रसंग से जुड़े कई टीवी और फिल्म शो बने। 
2008: आशुतोष गोवारीकर ने जोधा अकबर नाम से फिल्म बनाई थी, इसमें भी महाराणा प्रताप का जिक्र था
2012-2015: जीटीवी का शो जोधा अकबर
2013-2015: सोनी पर भरत का वीर पुत्र - महाराणा प्रताप
2016: एबीपी न्यूज़ ने भारतवर्ष प्रस्तुत किया, इसमें 8 एपिसोड में महाराणा प्रताप की कहानी दिखाई गई थी

(ये सभी तस्वीरें अलग-अलग कलाकारों ने बनाई हैं, जिन्हें सोशल साइट्स से लिया गया है)

Share this Photo Gallery
click me!

Latest Videos