महिलाएं ही नहीं पुरुषों का भी होता है बलात्कार, उइगर शरणार्थियों पर ऐसे जुल्म ढाते हैं चीनी
नई दिल्ली. चीन में उइगर मुस्लिमों के लिए रोज नए नियम-क़ानून बनाए जाते हैं। साल 2017 में ही एक डिटेंशन कैंप से भागी पीड़िता ने बताया था कि वहां न सिर्फ मुस्लिम महिलाओं के बल्कि मुस्लिम जवान लड़कों के साथ भी बलात्कार किए जाते हैं। चीनी सैनिक मुस्लिम मर्दों को भी यौन शोषण करते हैं।
वहां इस्लामी टोपी लगा कर घूमने पर पाबन्दी है, नमाज भी पुलिस की निगरानी में अनुमति लेकर ही पढ़ी जा सकती है और इस्लामिक रीति-रिवाजों पर प्रतिबन्ध है। चीन के शिनजियांग प्रान्त में ख़ास करके उइगर मुस्लिमों को डिटेंशन कैम्प में रखा जाता है, जहां उनका ‘चीनीकरण’ किया जाता है।
जानकारी के मुताबिक चीन में जिन मुस्लिमों को डिटेंशन कैम्प में भेजा जाता है, उनके घर की निगरानी रखने के लिए चीनी नागरिकों को हायर किया गया है। ये चीनी नागरिक उइगर मुस्लिमों के घर पर निगरानी रखते हैं। निगरानी रखने वाले चीनी नागरिक उइगर मुस्लिमों की पत्नियों के साथ बिस्तर पर सोते हैं।
एक साथ कई चीनी सैनिक मुस्लिम महिलाओं के साथ सोते हैं। कैंप से भागी एक पीड़िता रूकैया ने बताया कि, 35 साल से कम के हर मुस्लिम पुरुष और महिला दोनों का बलात्कार किया जाता है। चीनी सैनिक जेलों में डाले गए मुस्लिम लड़कों के साथ यौन संबंध बनाते हैं, उन्हें प्रताड़ित करते हैं, उनकी पत्नियों के साथ रेप करने की धमकी देकर यौन शोषण करते हैं।
उइगर मुस्लिम परिवारों के लिए नियम बनाया गया है कि वो नियमित रूप से चीनी अधिकारियों को अपने घर पर आमंत्रित करें और अपने मजहबी और राजनीतिक विचारों से उन्हें अवगत कराएँ। इसीलिए, चीन ने ‘पेअर अप एंड बिकम फैमिली’ योजना लागू की है, जिसमें हर उइगर परिवार को एक चीनी असाइन किया गया है। यह कुछ और नहीं बल्कि उइगर मुसलमानों के घर जाकर सेक्स स्लेव (यौन दासी) के साथ मनोरंजन करने की आड़ में बनाया गया कानून है।
इसके अलावा चीन में मुस्लिमों की दशा को दिखाता एक वीडियो भी सामने आया है। जिसे वॉर ऑन फियर नाम के यूट्यूब चैनल पर पिछले महीने अपलोड किया गया है। इसमें देखा जा सकता है कि कई सौ की तादाद में कैसे मुस्लिमों को बंदी बनाकर, उनकी आँखों को मूंदकर ट्रेन से शियानजिंग में स्थांतरित किया जा रहा है।
हालांकि, चीन इन कॉन्संट्रेशन कैंम्पों को प्रशिक्षण केंद्र मानता है। चीन का कहना है कि मुस्लिम लोगों को अतिवाद से बाहर निकालने और उन्हें नए स्किल देने के लिए ये कैंप चला रहा है।
वहीं केवल कैंप से भागी हुई महिलाएं ही नहीं, बल्कि वहाँ स्थानीय अधिकार समूह भी बताते हैं कि इन कैंपो में महिलाओं के गुप्तांगों में मिर्ची का पेस्ट लगाना जैसी चीजें बेहद आम है।
चीन में उइगर और कजाक समुदाय के लोगों के लोगों को जेलों में डाल दिया जाता है फिर चीनी नागरिक और सैनिक उनके परिवार की महिलाओं के साथ रहते हैं, ये 'पेअर अप एंड बिकम फैमिली' प्रोग्राम के तहत उनके साथ सोते हैं, जबरन शादी करते हैं। गर्भवती होने पर उनके गर्भपात करवा दिए जाते हैं। चीन में मुस्लिम शरणार्थियों के साथ अत्याचार की खबरें लगातार चर्चा में हैं।