जामताड़ा में नाव हादसा: चौथे दिन मां-बेटी समेत 3 शव और मिले, 64 घंटे से नदी किनारे खड़े बिलख रहे परिवार

एनडीआरएफ की टीम ग्रामीणों की मदद से 64 घंटे से लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है। नदी के घाट पर लोगों की भारी भीड़ जमा है। जिन घरों के लोग गायब हैं, उनके परिजनों की आंखों से आंसू तक सूख गए हैं। एक-दूसरे का ढांढस बंधाया जा रहा है। 

Asianet News Hindi | Published : Feb 27, 2022 9:40 AM IST

जामताड़ा। झारखंड के जामताड़ा जिले में नाव हादसे की घटना में लगातार बराकर नदी से शव निकाले जा रहे हैं। चौथे दिन रविवार को 3 और शव बरामद किए गए। इनमें से एक की पहचान पंजनिया गांव के विनोद मोहली के रूप में की गई है। एक महिला और बच्ची का शव भी मिला है। ये दोनों मां-बेटी हैं। घटना गुरुवार शाम 5 बजे की है। अब तक 8 शव बरामद किए गए हैं। जबकि 4 लोगों को पहले दिन ही सुरक्षित बचा लिया गया था। नदी में अभी लापता एक दर्जन से ज्यादा लोगों की तलाश चल रही है।

एनडीआरएफ की टीम ग्रामीणों की मदद से 64 घंटे से लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है। नदी के घाट पर लोगों की भारी भीड़ जमा है। जिन घरों के लोग गायब हैं, उनके परिजनों की आंखों से आंसू तक सूख गए हैं। एक-दूसरे का ढांढस बंधाया जा रहा है। घाट पर मौजूद हर कोई अपने बेटे-भाई की सलामती की दुआ कर रहा है। नदी में जैसे ही कुछ मिलता है तो परिजनों की भीड़ देखने को टूट पड़ती है। पुलिस हालात को संभालने के लिए अलर्ट मोड़ पर है। प्रशासन भी रेक्स्यू ऑपरेशन की व्यवस्थाओं में जुटा है।

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गुरुवार रात से घाट पर डेरा डाले हैं परिजन
जिला प्रशासन की ओर से नदी में डूबे लोगों को खोजने का हरसंभव प्रयास किया जा रहा है। लापता लोगों को ढूंढने के लिए करीब 4 किलोमीटर रेडियस में मैपिंग कर अलग-अलग टीमों को लगाया गया है। प्रशासन और पुलिस को भीड़ नियंत्रित करने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। परिजन गुरुवार रात से ही घाटों पर डेरा डाले हुए हैं। 

4 लोग तैरकर निकल आए थे
बता दें कि बराकर नदी में बरबेंदिया-वीरगांव घाट पर गुरुवार शाम आंधी-बारिश की वजह से एक नाव पलट गई थी। 4 लोग किसी तरह तैरकर बाहर निकल आए थे। जबकि अन्य लोग लापता हो गए थे। इनमें 4 शव शुक्रवार को बरामद किए थे। शनिवार को एक और शव मिला। रविवार दोपहर तक मां-बेटी समेत 3 शव मिले हैं।

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शनिवार को शव दिखाने को लेकर हो गया था विवाद
इसके अलावा 8 बाइक, 2 साइकिलें, लेडीज पर्स और चप्पलें बरामद की गई थीं। बचाव टीम ने हादसे की शिकार नाव को भी खोज निकाला था, लेकिन कई लोगों के बारे में जानकारी नहीं मिल सकी है। शनिवार को जिस महिला का शव मिला था, उसकी पहचान मेंझिया के मोमिन टोला के रसीद अंसारी की पत्नी सालेहा के रूप में हुई। महिला का शव जब एंबुलेंस से पोस्टमार्टम के लिए जामताड़ा भेजा जा रहा था, तब ग्रामीणों और परिजन ने जिद की कि शव उनको दे दें, ताकि उसे देख सकें। दोनों पक्षों में विवाद होने लगा था। ग्रामीणों ने पुलिस-प्रशासनिक अधिकारियों पत्थरबाजी कर दी थी। 

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नाव सवारों की संख्या पर अलग-अलग दावे
प्रशासन की टीम ने स्थानीय लोगों से पूछताछ और सूचना के आधार पर ही पांच लोगों के जिंदा बचने और 15 लोगों के लापता होने की सूची जारी की है। शुक्रवार को 13 लोगों की सूची और एक अज्ञात के लापता होने की बात कही थी। शनिवार को रसिक के परिजन के सामने आने से अब कुल संख्या 15 मानी जा रही है। हालांकि ग्रामीणों का कहना है कि अभी भी 18 लोग लापता हैं। शनिवार को पुलिस-प्रशासन के आला अधिकारी पूरी टीम के साथ रेस्क्यू ऑपरेशन की निगरानी करते रहे।

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