
केरल के मुवत्तुपुझा क्षेत्र के अवोली और आसपास के पंचायतों में हेपेटाइटिस A के मामले तेजी से बढ़ रहे है, जो शहर से लगभग 47 किलोमीटर दूर है। हेल्थ अथोरिटी ने अब तक लगभग 50 मामलों की पुष्टि की है। पहला मामला 30 मई को सामने आया था। हेपेटाइटिस A का इनक्यूबेशन पीरियड (अंदर विकसित होने की अवधि) दो से छह सप्ताह होता है, इसलिए स्वास्थ्य विभाग को आने वाले दिनों में और मामले सामने आने की आशंका है। अधिकांश संक्रमित लोग 3 मई को अवोली पंचायत के नाडुक्करा वार्ड में आयोजित एक शादी में शामिल हुए थे। अधिकारियों को संदेह है कि इस समारोह में परोसे गए दूषित भोजन और पानी के कारण यह संक्रमण फैला हो सकता है। क्योंकि इसमें अवोली, मंजल्लूर और अराकुझा पंचायतों के साथ-साथ मुवत्तुपुझा, इडुक्की और अलाप्पुझा जिलों से लगभग 150 लोग शामिल हुए थे।
हेपेटाइटिस A एक अत्यधिक संक्रामक लिवर इंफेक्शन है, जो आमतौर पर दूषित भोजन, पानी या किसी संक्रमित व्यक्ति और वस्तु के संपर्क में आने से फैलता है। हेपेटाइटिस वायरस लिवर में सूजन पैदा करता है और इसकी कार्यक्षमता को प्रभावित करता है।
हर संक्रमित व्यक्ति में ये सभी लक्षण नहीं होते। आमतौर पर लक्षण हल्के होते हैं और कुछ हफ्तों में ठीक हो जाते हैं। लेकिन कुछ मामलों में ये लक्षण कई महीनों तक रह सकते हैं और गंभीर बीमारी का कारण भी बन सकते हैं।
हेपेटाइटिस A से बचने के लिए सबसे प्रभावी तरीका टीकाकरण है। यह टीका दो खुराकों में दिया जाता है पहली खुराक के बाद कुछ समय बाद बूस्टर डोज दी जाती है। अन्य एहतियाती उपायों में शामिल हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, अधिकांश लोग हेपेटाइटिस A से पूरी तरह ठीक हो जाते हैं और उन्हें जीवनभर की रोग प्रतिरोधक क्षमता मिल जाती है। हालांकि, बहुत कम मामलों में यह बीमारी गंभीर रूप ले सकती है और फुलमिनेंट हेपेटाइटिस (तेजी से बिगड़ता लिवर इंफेक्शन) के कारण मृत्यु भी हो सकती है।