इन रोगों में तुरंत असरकारक होती है होम्योपैथी, साइड इफेक्ट नहीं, पर्सनलाइज ट्रीटमेंट

पहले की चिकित्सा पद्धतियों में इलाज के दौरान कष्ट होता था। होम्यापैथी में मरीज को इलाज में कष्ट नहीं होता है। होम्योपैथिक डॉक्टर अम्बुज शुक्ला कहते हैं कि मौजूदा समय में 80 फीसदी से ज्यादा लोग इस पैथी का यूज कर रहे हैं। लोगों को इसका लाभ मिलता है।

Rajkumar Upadhyay | Published : Apr 15, 2023 5:32 AM IST / Updated: Apr 15 2023, 11:20 AM IST

हेल्थ डेस्क। पहले की चिकित्सा पद्धतियों में इलाज के दौरान कष्ट होता था। होम्यापैथी में मरीज को इलाज में कष्ट नहीं होता है। होम्योपैथिक डॉक्टर अम्बुज शुक्ला कहते हैं कि मौजूदा समय में 80 फीसदी से ज्यादा लोग इस पैथी का यूज कर रहे हैं। लोगों को इसका लाभ मिलता है। साइड इफेक्ट नहीं होता है। इसमें लोगों का पर्सनलाइज ट्रीटमेंट होता है, मतलब व्यक्तिवादी विशेषताओं को समझकर रोगी का इलाज किया जाता है। हम रोग का नहीं बल्कि रोगी का इलाज करते हैं।

इलाज का समय रोग की गंभीरता पर निर्भर

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डॉ. शुक्ला कहते हैं कि उसमें पेशेंट की हिस्ट्री जानी जाती है। शरीर की बनावट आदि का अध्ययन कर, रोगी की आदत और स्वभाव के बारे में जानकारी की जाती है और फिर एक कांस्टीट्यूशनल मेडिसिन बनाई जाती है। क्रॉनिक बीमारियों का भी उपचार इस पैथी के माध्यम से किया जाता है, उसके उपचार में समय लगता है। उसमें यह रोग की गंभीरता और रोग कितना पुराना है, उसकी प्रकृति पर निभर्र करता है, जबकि एक्यूट रोगों के उपचार में कम समय लगता है। केवल एक्सीडेंट और एक्यूट इमरजेंसी के मामलों में एलोपैथी का सहारा लिया जा सकता है।

इन रोगों में तुरंत कारगर

आम धारणा है कि होम्योपैथी देर से असर करती है, पर ऐसा नहीं है। मलेरिया, डेंगु, ज्वाइंट पेन आदि में तुरंत कारगर साबित होती है। कोरोना महामारी के समय भी तमाम लोगों के होम्योपैथी की औषधि का सेवन किया और उन्हें इसका लाभ मिला। इसमें ऑटो-इम्यून डिजीज, मासिक धर्म संबंधी विकार, मानसिक रोग, तीव्र या मौसमी रोग, ऑस्टियोआर्थराइटिस, ऑस्टियोपोरोसिस आदि बीमारियों का भी कारगर इलाज किया जाता है।

प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए सुरक्षित और असरकारक

प्रेग्नेंसी में महिलाओं के लिए होम्योपैथी सुरक्षित और असरकारक होती है। गर्भावस्था, प्रसवोपरान्त और स्तनपान के दौरान उपजी समस्याओं के लिए होम्योपैथी कारगर है। गर्भवती महिला यदि किसी भी प्रकार के तनाव से ग्रस्त है तो उसका असर शिशु पर पड़ता है। उसकी वजह से बच्चा मंदबुद्धि हो सकता है। उसका वजन कम हो सकता है या समय से पूर्व प्रसव की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। होम्योपैथी में इसका सटीक इलाज है।

दवा लेने से पहले इन चीजों का रखें ख्याल

होम्योपैथी दवा असरकार होगी, यदि हम दवा खाने से पहले कुछ चीजों का विशेष ध्यान रखें। जैसे—दवा का सेवन करने से पहले मुंह साफ हो। किसी भी गंध वाली चीज खाने के 30 मिनट बाद ही दवा लें। इस दौरान कॉफी पीने से परहेज करें, क्योंकि यह दवा के असर को कम कर देती है। दवा हमेशा चूसकर ही खाएं, क्योंकि इस दवा का असर जीभ के माध्यम से होता है।

Disclaimer- सामान्य जानकारी के आधार पर यह लेख लिखा गया है। किसी भी तरह के इलाज के लिए अपने डॉक्टर की सलाह अवश्य लें।

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