पीरियड में ब्लीडिंग का लेबल बता सकता है, आप थायराइड बीमारी के हो रहे हैं शिकार, जरूर करें गौर

हेल्थ डेस्क. पीरियड्स महिला के पूरे हेल्थ को दिखाता है। यह इंसुलिन सेंसिटिविटी, डाइजेशन और थायराइड हार्मोन के असंतुलन समेत कई कारणों से प्रभावित होते हैं। महावारी में ब्लीडिंग से पता लगाया जा सकता है कि थाइराइड ठीक है या नहीं। आइए जानते हैं कैसे..

Nitu Kumari | Published : Jan 20, 2023 4:34 AM IST / Updated: Jan 20 2023, 10:13 AM IST
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पीरियड्स या महावारी (Menstruation) में ब्लीडिंग से पता लगाया जा सकता है कि थाइराइड हमारा ठीक है या नहीं। थायराइड (thyrodi) के असंतुलन से कई तरह के शारीरिक दिक्कतें पैदा हो सकती है। यह पीरियड्स को भी प्रभावित करता है।

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थायरॉयड ग्रंथि थायराइड हार्मोन का उत्पादन करती है जिसके शरीर में कई काम होते हैं, जिसमें टेम्परेचर और एनर्जी के लेबल को नियंत्रित करना भी शामिल है। जब आपका थायराइड हार्मोन का उत्पादन अपर्याप्त होता है, तो शरीर की कई प्रक्रियाएं धीमी हो जाती हैं । आपको कब्ज, थकान, अवसाद, शुष्क त्वचा, पतले बाल, ठंड असहिष्णुता, मांसपेशियों में ऐंठन, जोड़ों में दर्द, वजन बढ़ना और अनियमित मासिक धर्म हो सकता है।
 

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थायराइड का स्तर पीरियड्स से कैसे जुड़ा है
हेल्थ एक्सपर्ट की मानें तो थायरॉइड आपके ओवरी को सीधे और अप्रत्यक्ष रूप से सेक्स हार्मोन-बाइंडिंग ग्लोब्युलिन (SHBG) से प्रभावित करता है। चूकि थायराइड ग्रंथि तकनीकी रूप से अंतःस्रावी तंत्र (endocrine system) का सदस्य है, न कि महिला प्रजनन प्रणाली का। लेकिन थायरॉयड ग्रंथि के हार्मोन महिला प्रजनन प्रणाली के समुचित कार्य में योगदान करते हैं। जब थायराइड ग्रंथि बहुत कम या ज्यादा थायराइड हार्मोन का उत्पादन करती हैं तो इससे कई दिक्कत होती है। जैसे पीरियड्स अनियमित हो जाता है। कभी बहुत ज्यादा ब्लीडिंग होने लगती है तो कभी बहुत ही कम।  इससे एमेनोरिया (Amenorrhea) भी हो सकता है।बिना प्रेग्नेंसी और मेनोपॉज के किसी महिला को लगातार 3 महीने तक पीरियड्स नहीं आते हैं तो इसका कारण एमेनोरिया बताया जाता है। इसके साथ ही 40 से पहले मेनोपॉज भी थाइराइड हार्मोन के बिगड़ने की वजह से हो सकती है।
 

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पीरियड्स देता है थायराइड के बीमारी का संकेत
पीरियड्स बताता है कि आपका थायराइड ग्रंथि ठीक से काम कर रहा है या नहीं। यदि आप पीरियड्स में ज्यादा ब्लीडिंग का अनुभव कर रहे हैं। यानी हर दो घंटे से पहले पैड बदलना पड़ रहा है। बहुत बार क्लॉट पास होते हैं तो यह हाइपोथायरायडिज्म के कारण हो सकता है यानी आपकी थायरॉयड ग्रंथि पर्याप्त थायराइड हार्मोन का उत्पादन नहीं करती है।

-इसके साथ ही अगर महीने में कई बार मासिक धर्म का अनुभव कर रहे हैं या फिर यह लंबे वक्त तक रह रहा है तो यह भी  हाइपोथायरायडिज्म के कारण हो सकता है।

-यदि आप अपने वास्तविक मासिक धर्म चक्र के शुरू होने से कुछ दिन पहले प्रीमेंस्ट्रुअल स्पॉटिंग यानी पीरियड के दाग का अनुभव करती हैं, तो यह एक अंडरएक्टिव थायरॉयड ग्रंथि यानी हाइपोथायरायडिज्म का संकेत हो सकता है।

-यदि आपके मासिक धर्म अनियमित हैं या अक्सर आपके पीरियड्स मिस होते हैं, तो यह हाइपोथायरायडिज्म कारण हो सकता है। थायरॉयड ग्रंथि के बहुत कम या बहुत अधिक थायराइड हार्मोन का उत्पादन करने के कारण हो सकता है। यदि आपके मासिक धर्म बिल्कुल नहीं आते हैं यानी मासिक धर्म चक्र अनुपस्थित हैं तो यह हाइपोथायरायडिज्म कारण भी हो सकता है।
 

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थायराइड का ट्रीटमेंट क्यों जरूरी
हेल्थ एक्सपर्ट की मानें तो हेल्थ से जुड़ी प्रॉब्लमस से बचने के लिए हाइपोथायरायडिज्म का इलाज करना जरूरी होता है। हाइपोथायरायडिज्म को शुरुआत में ही पहचान कर ट्रीटमेंट करने पर स्वास्थ्य से जुड़ी गंभीर समस्या से बचा जा सकता है।
 

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थायराइड ग्रंथि के ठीक से नहीं काम करने पर ये दिक्कतें हो सकती हैं

बांझपन
दिल के रोग
नस की क्षति
घेंघा रोग
जन्म दोष
मानसिक बीमारी

यदि हाइपरथायरायडिज्म का इलाज नहीं किया जाता है तो गंभीर परिणाम हो सकते हैं
दिल की धड़कन तेज हो सकती है।
शऱीर को झटका लग सकता है।
बाल और हड्डियों में भंगुरता आ सकती है।
डबल विजन हो सकता है।
प्रकाश देखने में दिक्कत हो सकती है।
नींद की समस्या, घबराहट हो सकती है।
स्वाभाव में चिड़चिड़ापन आ सकता है।

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ट्रीटमेंट क्या है
लक्षण दिखने के बाद डॉक्टर के पास जाए। वो थायराइड लेबल का टेस्ट करेगा। फिर दवाएं देगा, जिससे इसे कंट्रोल किया जा सकता है। जिससे हेल्थ से जुड़ी समस्या दूर हो जाती है

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