जिनकी मां मर जाती है वह भी जीते हैं..2 मासूम बेटों के नाम 4 लाइन का सुसाइड नोट लिख मां ने लगाई फांसी

मरने से पहले महिला ने अपने दो मासूम बेटे कुशाल और हर्ष के लिए चार लाइन का इमोशनल सुसाइड नोट लिखा-''जन्म देने के बाद जिनकी मां मर जाती है वे भी जीते हैं। तुम भी जी लोगे मेरे बच्चे’ 

Asianet News Hindi | Published : Jul 19, 2020 3:27 PM IST

रतलाम (मध्य प्रदेश). देश में आज भी हजारों महिलाएं ससुराल वालों से प्रताड़ित होकर आत्महत्या कर रही हैं। ऐसा ही एक दुखद मामला मध्य प्रदेश के रतलाम शहर में सामना आया है। जहां एक 27 वर्षीय महिला ने फांसी लगाकर मौत को गले लगा लिया। लेकिन मरने से पहले मृतका ने अपने दो बच्चों के लिए जो सुसाइड लिखा उसको पढ़कर हर कोई रोया।

अंतिम संस्कार के लिए हुआ विवाद
दरअसल, रेलकर्मी की पत्नी ने भावना के साथ प्रताड़ना की हद इतनी पार हो गई कि उसको शुक्रवार रात सुसाइड करना पड़ा। दूसरे दिन जब वह कमरे से बाहर नहीं आई तो घरवालों ने दरवाजा तोड़ा तो दखा कि वह फंखे से लटक रही थी। घटना की जानकारी मिलते ही मौक पर पहुंची पुलिस ने शव को बारमद कर पोस्टमार्टम कराया। लेकिन शव को लेकर मायके वाले और ससुराल वालों में विवाद हो गया। किसी तरह पुलिस ने मामले को शांत कर शव को अंतिम संस्कार के लिए मायके वालों को सौंप दिया।

दो मासूमों के लिए लिखा-4 लाइन का सुसाइड नोट
मरने से पहले महिला ने अपने दो मासूम बेटे कुशाल और हर्ष के लिए चार लाइन का इमोशनल सुसाइड नोट लिखा-''जन्म देने के बाद जिनकी मां मर जाती है वे भी जीते हैं। तुम भी जी लोगे मेरे बच्चे’ 

पिता ने बयां की अपनी बेटी की दुख भरी काहानी
बता दें कि भावना की शादी 2013 में इंजीनियर गणेश अवाना के साथ हुई थी। भावना के दो बेटे कुशाल (5) और हर्ष (3) हैं। मृतका के पिता महेश डोई ने बताया कि सब कुछ ठीक चल रहा था, लेकिन दो साल पहले ससुराल वाले बेटी से दहेज के लिए पैसे मांगने लगे। उन्होंने प्लॉट के लिए मायके से पैसे लाने के लिए कहा। जब भावना ने ऐसा करने से मना किया तो उसके साथ मारपीट करने लगे और बच्चों को घर रखकर उसको घर से निकाल दिया। बाद में पुलिस के समझाने के बाद वापस उसे ले गए। लेकिन विवाद आए-दिन होता रहता था, वह मायके वालों से उसकी बात तक नहीं करने देते थे।

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