राजभवन में अजित पवार के साथ एनसीपी के दूसरे नेता नजर नहीं आए। कहा जा रहा है कि एनसीपी में दरार पड़ गई है। बीजेपी नेता राम कदम ने एनसीपी के समर्थन और फूट की बात तो नहीं कि मगर उन्होंने कहा कि सदन में जरूरी विधायकों का समर्थन सरकार को हासिल है।
मुंबई। भारी उठा-पटक के बीच महाराष्ट्र में शनिवार सुबह को बीजेपी ने शिवसेना के सरकार बनाने के मंसूबों पर पानी फेर दिया। बीजेपी के नेता देवेंद्र फडणवीस ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उनके साथ अजित पवार ने डिप्टी सीएम के पद की शपथ ली। राजभवन में अचानक हुए इस राजनीतिक गतिविधि से हर कोई हैरान है।
राजभवन में अजित पवार के साथ एनसीपी के दूसरे नेता नजर नहीं आए। कहा जा रहा है कि एनसीपी में दरार पड़ गई है। बीजेपी नेता राम कदम ने एनसीपी के समर्थन और फूट की बात तो नहीं कि मगर उन्होंने कहा कि सदन में जरूरी विधायकों का समर्थन सरकार को हासिल है। बीजेपी ने समर्थक विधायकों का आंकड़ा जाहिर नहीं किया गया है। देवेंद्र फडणवीस ने भी सरकार बनाने के बाद अपने बयान में शरद पवार का नाम नहीं लिया। उन्होंने बार-बार सिर्फ अजित पवार का नाम लिया।
अजित पवार ने क्या कहा?
अजित पवार ने कहा, राज्य में किसानों की हालत बहुत खराब है। महाराष्ट्र को स्थिर सरकार की जरूरत है। तीनों पार्टियों (एनसीपी,कांग्रेस और शिवसेना) की कई बैठकें हुईं पर कोई हल नहीं निकल पाया। इस वजह से हम बीजेपी के साथ सरकार बना रहे हैं।
क्या एनसीपी दो फाड़
शरद पवार ने जिस तरह से बयान दिया है उसके मुताबिक महाराष्ट्र में एनसीपी टूट गई है। शरद पवार ने कहा कि बीजेपी के साथ जाने का फैसला अजित पवार का अपना है, पार्टी का नहीं। हालांकि जानकारों का मानना है कि शरद पवार की अनुमति के बिना अजित ऐसा कदम नहीं उठा सकते हैं। कुछ दिन पहले शरद पवार और पीएम नरेंद्र मोदी के बीच मुलाक़ात भी हुई थी तब भी महाराष्ट्र में बीजेपी और एनसीपी के साथ एक नए गठबंधन की चर्चा शुरू हुई थी।
कांग्रेस के कुछ अंदरूनी सूत्रों ने भी शरद पवार पर धोखा देने का आरोप लगाया है।