लोकसभा चुनाव के पहले एक्शन के मूड में केंद्र सरकार, जेल में बंद यासीन मलिक की पार्टी जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट पर 5 साल के लिए बढ़ाया बैन

Published : Mar 16, 2024, 01:57 PM IST
Yasin Malik

सार

केंद्र सरकार लोकसभा चुनाव के पहले बड़ा कदम उठाते हुए शनिवार (16 मार्च) को जेल में बंद अलगाववादी नेता यासीन मलिक की पार्टी जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (jklf) पर 5 साल का प्रतिबंध बढ़ा दिया।

यासीन मलिक की पार्टी। केंद्र सरकार लोकसभा चुनाव के पहले बड़ा कदम उठाते हुए शनिवार (16 मार्च) को जेल में बंद अलगाववादी नेता यासीन मलिक की पार्टी जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (jklf) पर 5 साल का प्रतिबंध बढ़ा दिया। केंद्र सरकार के नए आदेश के साथ संगठन को अगले पांच वर्षों की अवधि के लिए गैरकानूनी संघ करार दिया गया है। इस पर गृह मंत्री अमित शाह ने आरोप लगाया कि संगठन ने जम्मू-कश्मीर के अलगाव को सहायता और बढ़ावा देकर भारत की अखंडता को खतरे में डाला है।

गृह मंत्री अमित शाह ने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि प्रतिबंधित संगठन जम्मू-कश्मीर में आतंक और अलगाववाद को बढ़ावा देने वाली गतिविधियों में संलग्न रहता है। राष्ट्र की सुरक्षा, संप्रभुता और अखंडता को चुनौती देने वाले किसी भी व्यक्ति को कठोर कानूनी परिणाम भुगतने होंगे। गृह मंत्रालय ने जम्मू और कश्मीर पीपुल्स लीग (JKPL) के चारों गुटों, जिसमें मुख्तार अहमद वाजा, बशीर अहमद तोता, गुलाम मोहम्मद खान और याकूब के नेतृत्व वाले JKPL अजीज शेख के संघ को भी गैरकानूनी संघ करार दिया।

 

 

jklf को पहली बार 2019 में किया गया था बैन

जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (jklf) को पहली बार 2019 में कठोर आतंकवाद विरोधी कानून, गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, 1967 (यूएपीए) की धारा 3(1) के तहत प्रतिबंधित किया गया था। वहीं एक भाजपा सरकार द्वारा UAPA की समान धाराओं के तहत जमात-ए-इस्लामी (JEI-J&K) पर भी बैन लगा दिया गया था, जिसके बाद jklf पर एक बार फिर 5 साल का बैन बढ़ा दिया गया।प्रतिबंध में लागू धाराएं केंद्र सरकार को किसी भी एसोसिएशन को केवल आधिकारिक राजपत्र में अधिसूचित करके मनमाने ढंग से गैरकानूनी घोषित करने की छूट प्रदान करती हैं।

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