चीन ने LAC पर तैनात की मिसाइलें, 6 गुना ज्यादा सेना तैनात, क्या ये भारत को बड़ा धोखा देने की तैयारी ?

भारत लगातार चीन से सीमा को लेकर तनाव करने की कोशिश कर रहा है लेकिन चीन लगातार अपनी धोखा देने की आदद से बाज नहीं आ रही है। लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल यानी एलएसी पर चीन ने अपनी सैनिकों की संख्या कम करने के बजाय बढ़ा दी है। इतना ही नहीं, जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइलें, एंटी एयरक्राफ्ट गनों को भी तैनात किया है। 

Asianet News Hindi | Published : Jul 2, 2020 12:14 PM IST / Updated: Jul 02 2020, 05:46 PM IST

नई दिल्ली. भारत लगातार चीन से सीमा को लेकर तनाव करने की कोशिश कर रहा है लेकिन चीन लगातार अपनी धोखा देने की आदद से बाज नहीं आ रही है। लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल यानी एलएसी पर चीन ने अपनी सैनिकों की संख्या कम करने के बजाय बढ़ा दी है। इतना ही नहीं, जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइलें, एंटी एयरक्राफ्ट गनों को भी तैनात किया है। 

अक्साई चीन में खुरनाक फोर्ट पर है सेना
चीन की सेना की बड़ी तादाद अक्साई चीन में खुरनाक फोर्ट पर एकट्ठा है। रॉकेट फोर्स की बड़ी तादात भी एलएसी के पास इकट्ठा है। 

चीन ने एचक्यू 9 और एचक्यू 16 मिसाइल तैनात की
गलवान घाटी में चीन ने लंबी दूरी तक जमीन से हवा में मार करने वाली एचक्यू 9 और एचक्यू 16 मिसाइलों को तैनात किया है। यह मिसाइल 200 किमी तक मार कर सकती है और रडार फाइटर एयरक्राफ्ट, हेलीकॉप्टर को बड़ी आसानी से ट्रेक कर सकता है।

एचक्यू 16 मिसाइल 40 किमी. तक मार कर सकता है
एचक्यू 16 जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइल है, जो 40 किमी तक अटैक कर सकती है। 

चीन को अपने रॉकेट फोर्स पर ज्यादा भरोसा
चीन को अपने रॉकेट फोर्स पर सबसे ज्यादा भरोसा है। 2016 में पीपुल्स लिबरेशन आर्मी रॉकेट फोर्स 9 को अलग संगठन बनाया गया और इसके पास दुनिया में सबसे बड़ा रॉकेट का भंडार है।

- चीन ने अपनी तोपों को एलएसी के पास ऐसी जगहों पर तैनात किया है, जहां से गलवान घाटी और पेंगांग झील के किनारों पर भारतीय सेना के ठिकानों पर गोलाबारी की जा सकती है। 

30 जून को हुई थी कोर कमांडर स्तर की बैठक
30 जून को भारत और चीन के बीच कोर-कमांडर स्तर की बैठक हुई थी। 12 घंटे तक चली बैठक में इसी पर बात हुई कि दोनों देश अपनी सेनाओं को पीछे ले जाएं। 

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