उप राज्यपाल वीके सक्सेना ने नई आबकारी नीति के कार्यान्वयन में नियमों के उल्लंघन को लेकर सीबीआई जांच का आदेश दिया था। इसके बाद शनिवार को दिल्ली सरकार ने पुरानी आबकारी नीति को लागू करने का आदेश जारी कर दिया।
नई दिल्ली। दिल्ली सरकार द्वारा नई आबकारी नीति को कुछ समय के लिए वापस लिए जाने की घोषणा के बाद 1 अगस्त से राज्य की साढे़ चार सौ से अधिक रिटेल शॉप्स बंद हो जाएंगे। 1 अगस्त से राज्य में केवल सरकार द्वारा संचालित दुकानों के माध्यम से ही शराब की बिक्री होगी। उप राज्यपाल वीके सक्सेना ने नई आबकारी नीति के कार्यान्वयन में नियमों के उल्लंघन को लेकर सीबीआई जांच का आदेश दिया था। इसके बाद शनिवार को दिल्ली सरकार ने पुरानी आबकारी नीति को लागू करने का आदेश जारी कर दिया।
शहर की 468 दुकानें हो जाएंगी बंद
शहर में संचालित 468 निजी शराब की दुकानें 1 अगस्त से बंद हो जाएंगी। वजह यह कि आबकारी नीति 2021-22 के तहत उनके लाइसेंस की अवधि 31 जुलाई को समाप्त हो रही है। दिल्ली के मुख्य सचिव की एक रिपोर्ट के आधार पर उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने आबकारी नीति 2021-22 के कार्यान्वयन में नियमों के कथित उल्लंघन और प्रक्रियात्मक खामियों की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी।
मनीष सिसोदिया ने लगाया बड़ा आरोप
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने भाजपा पर शराब लाइसेंसधारियों और आबकारी अधिकारियों को धमकाने के लिए सीबीआई और ईडी जैसी एजेंसियों का इस्तेमाल करने का आरोप लगाया है।
भाजपा पर निशाना साधते हुए सिसोदिया ने आरोप लगाया कि वे 'गुजरात में अवैध शराब का कारोबार कर रहे हैं' और इसे दिल्ली में भी करना चाहते हैं। सिसोदिया ने कहा कि वे शराब की कमी पैदा करना चाहते हैं ताकि वे दिल्ली में अवैध शराब का व्यापार कर सकें जैसे वे गुजरात में कर रहे हैं। लेकिन हम ऐसा नहीं होने देंगे।
उपमुख्यमंत्री सिसोदिया, जिनके पास आबकारी विभाग भी है, ने बताया कि दिल्ली के मुख्य सचिव को यह सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया गया है कि शराब अब केवल सरकारी दुकानों के माध्यम से बेची जाए और कोई अराजकता न हो। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा दिल्ली में शराब माफिया को बढ़ावा देने के लिए गंदी राजनीति कर रही है। उन्होंने दावा किया कि बीजेपी सीबीआई और ईडी जैसी एजेंसियों का इस्तेमाल शराब लाइसेंसधारियों को धमकाने के लिए कर रही है, जिनमें से कई ने अब दुकानें बंद कर दी हैं, और आबकारी अधिकारी जो खुदरा लाइसेंस की खुली नीलामी शुरू करने से डरते थे।
सिसोदिया ने कहा कि हम बीजेपी को दिल्ली में नकली शराब की एक बूंद भी नहीं बेचने देंगे। हम बीजेपी के नापाक मंसूबों को नाकाम करने के लिए अपनी जमीन पर डटे हैं। गुजरात जैसी जहरीली शराब की त्रासदी से लोगों को बचाने के लिए सरकार ने शराब की बिक्री की इजाजत देने का फैसला किया है।
बीजेपी ने कहा सीबीआई डर से आप बैकफुट पर
उधर, भाजपा ने आरोप लगाया कि आप सरकार का जल्दीबाजी वाला कदम नियमों के उल्लंघन और भ्रष्टाचार की स्वीकृति था। सीबीआई जांच के डर से आप सरकार ने पुरानी नीति लागू की है। केंद्रीय मंत्री और नई दिल्ली से सांसद मीनाक्षी लेखी ने आम आदमी पार्टी (आप) सरकार से नई आबकारी नीति के लागू होने के बाद से भाजपा नेताओं द्वारा लगाए गए भ्रष्टाचार के सवालों और आरोपों का जवाब देने के लिए कहा। लेखी ने कहा कि दिल्ली में केजरीवाल सरकार सीबीआई जांच से डरती है जो उसके भ्रष्टाचार का पर्दाफाश करेगी और इसलिए उसने अपनी नई उत्पाद नीति वापस ले ली है। आप को जवाब देना चाहिए कि नीति के तहत लाइसेंसधारियों का कमीशन 2.5 प्रतिशत से बढ़ाकर 12 प्रतिशत क्यों किया गया।
दिल्ली में शराब से कमाया पैसा आप ने पंजाब में किया खर्च
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने कहा कि आप सरकार का अपनी नई नीति को रद्द करने का निर्णय दिल्लीवासियों और इसका विरोध कर रहे भाजपा कार्यकर्ताओं की जीत है। उन्होंने आरोप लगाया कि आप ने पंजाब विधानसभा चुनाव में इससे कमाए पैसे को खर्च किया। उन्होंने कहा कि अगर केजरीवाल की नई आबकारी नीति एक बड़ा घोटाला नहीं है, तो उनकी सरकार सीबीआई जांच के आदेश के बाद पुरानी नीति पर वापस जाने के लिए क्यों भाग रही है? दूसरे शब्दों में, यह उल्लंघन, भ्रष्टाचार और राजकोष के नुकसान की स्वीकारोक्ति है।
दिल्ली सरकार का दावा पारदर्शी तरीके से हुआ टेंडर
आबकारी मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि नई आबकारी नीति में ओपन टेंडर के माध्यम से पारदर्शी तरीके से लाइसेंस जारी किये गये हैं। कहा, 'पुराने शासन में सरकार को 6,000 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त होता था, जबकि नई आबकारी नीति से सरकार को पूरे वर्ष में 9,500 करोड़ रुपये का राजस्व मिलना तय था।
भाजपा पर सीबीआई और ईडी के माध्यम से दिल्ली के साथ भाजपा शासित राज्यों में दुकानों की संख्या की तुलना करते हुए, सिसोदिया ने कहा कि हरियाणा के गुरुग्राम में प्रति 4,166 लोगों पर एक शराब की दुकान खोली जाती है, जबकि गोवा में यह अनुपात 761 लोगों का है और नोएडा में, प्रति 1,390 लोगों पर एक शराब की दुकान खोली जाती है। सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली में 22,707 लोगों के लिए एक शराब की दुकान है।
आबकारी विभाग अभी भी आबकारी नीति 2022-23 पर काम कर रहा है, जो अन्य बातों के अलावा दिल्ली में शराब की होम डिलीवरी की सिफारिश करता है। अधिकारियों ने कहा कि मसौदा नीति को उपराज्यपाल वी के सक्सेना को उनकी मंजूरी के लिए भेजा जाना बाकी है।
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