गृह मंत्रालय ने यूएपीए कानून के तहत गोल्डी बरार को आतंकवादी घोषित किया है।
नई दिल्ली। गैंगेस्टर गोल्डी बरार को केंद्र सरकार ने आतंकवादी घोषित कर दिया है। गृह मंत्रालय ने यूएपीए कानून के तहत गोल्डी बरार को आतंकवादी घोषित किया है। सतिंदरजीत सिंह बरार उर्फ गोल्डी बरार, मशहूर पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला की हत्या में भी लिप्त पाया गया था। गोल्डी बरार के खिलाफ इंटरपोल ने रेड कार्नर नोटिस जारी कर रखा है। उसके खिलाफ नॉन-बेलेबल वारंट भी है।
सरकार ने जारी किया नोटिफिकेशन
गोल्डी बरार को आतंकी घोषित करने का नोटिफिकेशन जारी करते हुए सरकार ने कहा कि यह कार्रवाई भारत में हत्याओं को अंजाम देने, बार्डर पार से ड्रोन से एडवांस वेपन्स, गोला-बारूद और अन्य विस्फोटकों की स्मगलिंग कराकर भेजने के आरोप में की गई है। वह लगातार देश विरोधी गतिविधियों को अंजाम दे रहा है।
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अधिसूचना में कहा कि गोल्डी बरार प्रतिबंधित आतंकवादी समूह बब्बर खालसा इंटरनेशनल से भी जुड़ा रहा है। वह और उसके सहयोगी पंजाब में तोड़फोड़, आतंकी मॉड्यूल खड़ा करके, टारगेटेड मर्डर और अन्य राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों के माध्यम से शांति, सांप्रदायिक सद्भाव और कानून व्यवस्था को बाधित करने की साजिश रच रहे हैं। केंद्र सरकार का मानना है कि वह आतंकवाद में शामिल है इसलिए उसे गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम यानी यूएपीए के तहत आतंकवादी माना गया है।
लॉरेंस बिश्नोई गैंग से जुड़ा है गोल्डी
गोल्डी बरार, कुख्यात लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का प्रमुख सदस्य है। वह मुख्य रूप से पंजाब के श्री मुक्तसर साहिब से है। गोल्डी बरार का जन्म 1994 में हुआ था। वह 2017 में स्टूडेंट वीजा पर कनाडा गया था। इसके बाद वह गैरकानूनी धंधे में लिप्त हो गया। वो लगातार अपना हुलिया बदलता रहता है। गोल्डी पुलिस की लिस्ट में A+ कैटेगरी का गैंगस्टर है। कोर्ट ने उसे भगोड़ा घोषित कर रखा है। कहा जाता है कि वह कनाडा के ब्रैम्पटन में रहता है। वह राष्ट्रीय जांच एजेंसी और विभिन्न राज्यों में अपराधों के लिए वांटेड है।
पिछले साल 29 मई को पंजाब के मनसा जिले में मूसा गांव के पास एसयूवी में सिद्धू मूस वाला की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। गोल्डी बरार ने बाद में एक फेसबुक पोस्ट में स्वीकार किया था कि उसने एक अन्य गैंगस्टर की हत्या का बदला लेने के लिए हत्या की योजना बनाई थी।
यह भी पढ़ें: